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ऐसा क्या हुआ कि Delhi University के अध्यापकों को करनी पड़ रही है शू पॉलिश, जानिए कारण
शिक्षकों का कहना है कि सैलरी न मिलने के कारण अध्यापन जैसे सम्मानजनक पेशे से जुड़े कई अध्यापक खुद को एकदम बेबस और अपमानित महसूस कर रहे हैं और मानसिक तनाव का शिकार हो रहे हैं.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
दिल्ली के महाराजा अग्रसेन कॉलेज के प्राध्यापकों को पिछले चार महीने से सैलरी नहीं मिलने के चलते अपना विरोध जताने सड़क पर आना पड़ गया. जिन प्राध्यापकों के हाथों में हमने और आपने किताबें देखी है लेकिन देश की राजधानी के शिक्षक शुक्रवार को शू पॉलिस करते नजर आए. इस कॉलेज के प्राध्यापक पिछले लंबे समय से सैलरी न मिलने के कारण परेशान हैं और कई जगहों पर अपनी सुनवाई न होने के बाद आज उन्हें प्रदशर्न का रास्ता इख्तियार करना पड़ा.
पिछले चार महीने से नहीं मिला है वेतन
दिल्ली विश्वविद्यालय के महाराजा अग्रसेन कालेज के अध्यापक और अध्यापिकाओं को चार महीनों से वेतन नहीं मिला है, जिसके कारण आज महाराजा अग्रसेन कालेज वसुंधरा एन्क्लेव के गेट के बाहर दिल्ली सरकार के खिलाफ प्राध्यापकों ने शू-पालिश करते हुए धरने का आयोजन किया. इस धरने में जहां अध्यापक और अध्यापिकायें अपनी सैलरी को लेकर प्रदर्शन करते नजर आए वहीं उनके साथ बड़ी तादाद में छात्रों और छात्राओं ने भी शू पॉलिश कर विरोध को अपना समर्थन दिया.
पिछले चार महीने से नहीं मिल रहा है वेतन
महाराजा अग्रसेन कालेज के अध्यापन से जुड़ा स्टाफ और गैर -अध्यापन गतिविधियों से जुड़ा स्टाफ लंबे अरसे नियमित वेतन ना मिलने की समस्याओं से जूझ रहा है. अध्यापकों का कहना था कि इस कॉलेज के अध्यापक और अध्यापिकाओं को सातवें वेतन आयोग का एरियर भी अभी तक नहीं मिला है. पिछले तीन सालों से अध्यापकों को मेडिकल बिलों का भुगतान, एलटीसी सुविधा का भुगतान और बाल शिक्षा भत्ता भी नहीं मिला है.
शिक्षकों का कहना है कि दिल्ली विश्वविद्यालय के 12 कालेजों में शत-प्रतिशत वित्तपोषण दिल्ली सरकार करती है, इन्हींं बारह कालेजों में लगातार वित्तीय समस्याएं बनी रहती हैं. पिछले 3 सालों से इन कालेजों को मिलने वाले अनुदान में कमी और देरी के मामले सामने आते रहे हैं. अब उसी कड़ी में महाराजा अग्रसेन कालेज के अध्यापकों और कर्मचारियों भी शामिल हैं जिन्हें पिछले 4 महीनों से वेतन नहीं मिला है. वेतन ना मिलने की स्थिति में कर्मचारी और अध्यापक अपने बच्चों की स्कूल फीस का भुगतान नहीं कर पा रहे हैं, यही नहीं सैलरी न मिलने के कारण ये अध्यापक कई तरह की परेशानियों का भी सामना कर रहे हैं. कोरोना काल में भी महाराजा अग्रसेन कालेज के कर्मी इस तरह से महीनों महीने वेतन ना मिलने की स्थिति का शिकार हुए थे.
सभी जगह रखी जा चुकी है समस्या
शिक्षकों का कहना है कि महाराजा अग्रसेन कालेज के कर्मी कई महीनों से अनियमित वेतन से जुड़ी समस्याओं को कालेज के प्रिंसिपल, कालेज के शासी निकाय, दिल्ली यूनिवर्सिटी टीचर्स एसोसिएशन (डूटा), दिल्ली विश्वविद्यालय के उप-कुलपति, दिल्ली के लेफ्टीनेंट गवर्नर और दिल्ली सरकार के सामने रखते आ रहे हैं, पर कहीं से कोई स्थायी समाधान नहीं मिला. शिक्षकों को लगातार आश्वासन तो दिए जा रहे हैं लेकिन उनकी समस्या का हल नहीं हो रहा है. अब शिक्षको का कहना है कि शिक्षा के क्षेत्र में अपनी उपलब्धियों का बखान करनेवाली दिल्ली सरकार ने कालेज कर्मियों को भुखमरी के कगार पर लाकर खड़ा कर दिया है. दिल्ली सरकार ना तो कालेज अध्यापकों के साथ कोई संवाद करती है और ना ही अनुदान में कमी और देरी की कोई वजह बताती है.
समस्या हल न होने तक अब होगा आंदोलन
शिक्षकों का कहना है कि ऐसी स्थिति में अध्यापक और अध्यापिकाओं ने आंदोलन करने के लिए मजबूर होना पड़ेगा, ताकि सरकार चेते और कुछ ठोस कदम उठाये. अध्यापकों ने फैसला किया है कि अब तरह-तरह के नये तरीकों से आंदोलन तब तक चलाया जायेगा, जब तक समस्याओं का स्थायी समाधान नहीं मिल जाता और हर महीने वेतन का नियमित भुगतान संतोषजनक तरीके से नहीं कर दिया जाता.
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