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कोरोना में STEROID के ज्यादा इस्तेमाल ने बढ़ाई ये समस्या, लगातार सामने आ रहे मामले
एक रिसर्च में सामने आया हैं कि कोराना के दौरान दिए गए अनियंत्रित स्टेरॉइड्स के कारण अब लोगों में हिप से जुड़ी परेशानियां सामने आ रही हैं
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
कोरोना महामारी में बीमारी से बचने के लिए लोगों ने स्टेरॉइड्स का ज़रूरत से ज्यादा इस्तेमाल किया, उसके कारण अब उन्हें नई-नई परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. एक रिसर्च में सामने आया हैं कि कोराना महामारी के दौरान दिए गए अनियंत्रित स्टेरॉइड्स के कारण अब लोगों में हिप से जुड़ी परेशानियां सामने आ रही हैं. हिप से जुड़ी Avascular Necrosis of hip (AVN) की समस्या से ग्रसित मरीज बड़ी संख्या में मिल रहे हैं. अस्पताल पहुंच रहे ऐसे मरीजों की औसत उम्र 20 साल है, इन्हें जॉइंट्स में दर्द की शिकायत है, साथ ही चलने में भी परेशानी हो रही है.
आसान नहीं है बीमारी का इलाज
फरीदाबाद के अमृता अस्पताल की ऑर्थोपेडिक्स हेड डॉक्टर मृणाल शर्मा बताती हैं कि समस्या के समाधान के लिए इन मरीजों को अब लंबा इलाज कराना होगा. जिसके लिए उन्हें फिजिकल थेरेपी और एंटी इन्फ्लेमेटरी मेडिकेशन से गुजरना होगा. ज्यादा गंभीर परिस्थितियों में इसके लिए सर्जिकल ट्रीटमेंट या हिप रिप्लेसमेंट भी कराना पड़ता है. कॉर्टिकोस्टेरॉइड की 1 महीने या साल भर तक ज्यादा डोज देने के कारण इसके एडवर्स इफ़ेक्ट देखने को मिलते हैं. बोन टिशु के खत्म होने के कारण Avascular Necrosis की समस्या पैदा हो जाती है, जिससे ब्लड सर्कुलेशन बंद हो जाता है.
क्या होती है समस्या
हिप से जुड़ी इस समस्या में कूल्हे की गेंद मशरूम के आकार में बदल जाती है और शरीर का वजन नहीं सह पाती. इसके परिणामस्वरूप कूल्हे और भीतरी जांघों में दर्द, जकड़न और चलने में परेशानी जैसे लक्षण दिखाई देते हैं. कुछ विशेषज्ञों का मानना है कि कॉर्टिकोस्टेरॉइड्स रक्त में लिपिड (फैटी एसिड) के स्तर को बढ़ा सकते हैं, जिससे हड्डियों में रक्त का प्रवाह कम हो जाता है.
हर पांच में से एक मरीज ने ली स्टेरॉइड
डॉक्टर शर्मा बताती हैं कि उनके पास आने वाले हर पांच में से एक मरीज, जो कोविड से पीड़ित रहा था और उसने बिना डाक्टर की सलाह के स्टेरॉइड लिया था, उसे इन परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि हम कूल्हे की खराबी के कई ऐसे मामले भी देख रहे हैं जो 20-30 वर्ष की छोटी उम्र में सामने आ रहे हैं.
क्या है इससे बचाव का तरीका
डॉ शर्मा कहती हैं कि यदि Avascular Necrosis का इलाज समय पर नहीं किया गया, तो वक्त के साथ स्थिति बिगड़ती चली जाएगी. जब भी आपको कूल्हे या जांघ में दर्द जैसे लक्षण दिखाई दें और आपने किसी बीमारी में स्टेरॉइड का उपयोग किया हो, तो आपको डॉक्टर की सलाह से तुरंत एक्स-रे या एमआरआई कराना चाहिए. जितनी जल्दी हो सके इलाज शुरू करें, बिल्कुल भी देर न करें.
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