कर्नाटक के बीदर में उड़ाया विमान
पिता और बेटी की जोड़ी ने एकसाथ फाइटर प्लेन उड़ाकर इतिहास रच दिया है. भारतीय वायुसेना (IAF) के इतिहास में इससे पहले आज तक किसी पिता ने अपनी बेटी के साथ लड़ाकू विमान नहीं उड़ाया.
बचपन का सपना
अनन्या अपनी इस उपलब्धि को लेकर बेहद खुश हैं. उन्होंने कहा, ' मैंने बचपन से अपने पिता को वायुसेना में फाइटर पायलट के तौर पर देखा. वायुसेना के माहौल में पलने-बढ़ने के कारण मैंने कभी किसी दूसरे प्रोफेशन के बारे में नहीं सोचा. 2016 में IAF की पहली महिला फाइटर पायलट को देखने के बाद मुझे अपना सपना पूरा होते दिखा'.
30 मई को रच दिया इतिहास
इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन से बीटेक पूरा करने के बाद अनन्या को IAF की फ्लाइंग ब्रांच की ट्रेनिंग के लिए चुना गया. फाइटर पायलट के तौर पर उन्होंने दिसंबर 2021 में वायुसेना ज्वाइन की. पिता और बेटी ने 30 मई, 2022 को कर्नाटक के बीदर में फाइटर प्लेन उड़ाया.
एयरफोर्स में ऐसा अब तक नहीं हुआ
फ्लाइंग ऑफिसर अनन्या वायुसेना के तेज और बेहतर लड़ाकू विमानों को उड़ाने का प्रशिक्षण ले रही हैं. बता दें कि एयरफोर्स में ऐसा अब तक नहीं हुआ, जब पिता और बेटी ने एकसाथ एक ही फाइटर प्लेन उड़ाया हो.
2015 में मिली थी मंजूरी
गौरतलब है कि 2016 में भारतीय वायुसेना में पहली बार 3 महिला फाइटर पायलट शामिल हुईं थीं. 2015 में सरकार ने भारतीय वायुसेना में महिला लड़ाकू पायलटों को शामिल करने की मंजूरी प्रदान की थी.
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