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NTPC बनाएगा परमाणु से बिजली, दो राज्यों के इन जिलों में होगा 2800 मेगावॉट का उत्पादन
कंपनी जल्द ही हरियाणा और मध्यप्रदेश में दो न्यूक्लियर पॉवर रिएक्टर्स को बनाने का काम शुरू करने जा रही है
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
नई दिल्लीः नेशनल थर्मल पॉवर कॉर्पोरेशन जो कि अभी गैस और कोयले से बिजली का उत्पादन करता है और देश की सबसे बड़ी बिजली उत्पादन करने वाली कंपनी है वो अब परमाणु उर्जा के क्षेत्र में भी कदम रख रही है. कंपनी जल्द ही हरियाणा और मध्यप्रदेश में दो न्यूक्लियर पॉवर रिएक्टर्स को बनाने का काम शुरू करने जा रही है, जहां पर 2800 मेगावॉट परमाणु बिजली का उत्पादन शुरू होगा.
NPCIL से किया है समझौता
अभी तक परमाणु बिजली बनाने का अधिकार केवल न्यूक्लियर पॉवर कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया के पास है. अब एनटीपीसी ने एनपीसीआईएल के साथ इस बारे में समझौता किया है. ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के मुताबिक समझौते के तहत सारी तकनीकी मदद एनपीसीआईएल एनटीपीसी को देगा और प्लांट के तैयार हो जाने के बाद एनटीपीसी ही इसको ऑपरेट करेगा.
उत्तर भारत में बनेगा दूसरा न्यूक्लियर पॉवर प्लांट
एनटीपीसी हरियाणा के फतेहाबाद जिले के गोरखपुर गांव में सबसे पहले दो रिएक्टरों के साथ पॉवर प्लांट का निर्माण शुरू करेगा. इस प्लांट से 1400 मेगावॉट बिजली का उत्पादन शुरू किया जाएगा. इस प्लांट के बन जाने के बाद ये उत्तर भारत में दूसरा न्यूक्लियर पॉवर प्लांट हो जाएगा. फिलहाल उत्तर भारत में एक न्यूक्लियर पॉवर प्लांट पहले से उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले के नरौरा में कार्यरत है. यह प्लांट तकनीक के हिसाब से काफी पुराना हो चुका है.
एमपी में भी बनेगा प्लांट
इसके साथ ही कंपनी मध्यप्रदेश में भी एक प्लांट का निर्माण करने जा रही है. मध्य प्रदेश में फिलहाल एक भी न्यूक्लियर पॉवर प्लांट नहीं है. मांडला जिले के छुटका गांव में इस संयंत्र को स्थापित किया जाएगा. इसमें भी 700-700 मेगावॉट के दो रिएक्टर बनाए जाएंगे. पीएम मोदी अगले दशक में स्वच्छ स्रोतों से बिजली के हिस्से का विस्तार करने के लिए भारत के परमाणु बेड़े को तीन गुना से अधिक करने का लक्ष्य बना रहे हैं, क्योंकि देश 2070 तक कार्बन उत्सर्जन को शून्य करना चाहता है.
70 फीसदी बिजली का उत्पादन कोयले से
देश वर्तमान में कोयले का उपयोग करके लगभग 70% बिजली उत्पन्न करता है, जबकि परमाणु से बिजली का उत्पादन फिलहाल 3% ही है. एनटीपीसी, न्यूक्लियर पावर कार्पोरेशन और परमाणु ऊर्जा विभाग ने टिप्पणी के लिए ईमेल किए गए अनुरोधों का तुरंत जवाब नहीं दिया. राष्ट्र के पास 6.8 गीगावाट परमाणु ऊर्जा है, जो इसके कुल उत्पादन बेड़े का बमुश्किल 1.7% है. नई दिल्ली स्थित एनटीपीसी वर्तमान में अपनी क्षमता का 92% कोयले ईंधन पर प्लांट चलाती है और 2032 तक इसे घटाकर लगभग आधा करने की योजना है.
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