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RBI बनाएगा नया पोर्टल, एक ही जगह पर मिलेगी लावारिस पड़े पैसों की जानकारी!
इस वक्त अगर आपको दावा नहीं किये हुए पैसों की जानकारी चाहिए होती है तो आपको हर बैंक की वेबसाइट पर जाकर जांचना पड़ता है.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
जल्द ही आप ऐसे पैसों की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं जिन पर दावा नहीं किया गया है और जो बैंकों में लावारिस पड़े हुए हैं. भारत के केंद्रीय बैंक RBI (रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया) के गवर्नर शक्तिकांत दास ने बताया कि RBI ने फैसला लिया है कि बैंकों में पड़े लावारिस पैसे की जानकारी प्राप्त करने के लिए एक विशेष पोर्टल बनाया जाएगा.
फिलहाल ऐसे मिलती है लावारिस पड़े पैसों की जानकारी
इस वक्त अगर आपको दावा नहीं किये हुए पैसों की जानकारी चाहिए होती है तो आपको हर बैंक की वेबसाइट पर जाकर जांचना पड़ता है. उस बैंक के पास आपका पैसा लावारिस पड़ा है या नहीं, ये जानने के लिए आपको व्यक्ति के नाम के साथ-साथ उसका पता, पिन कोड और फोन नंबर जैसी जानकारी भी टाइप करके डालनी होती है. RBI इस पूरी प्रक्रिया के लिए एक सामान्य पोर्टल बनाएगा जिससे आप सभी बैंकों से एक बार में लावारिस पड़े पैसों की जानकारी प्राप्त कर पाएंगे.
इस तरह से आपके पैसे भी हो सकते हैं लावारिस
हाल ही में संसद में दिए गए एक बयान की मानें तो पब्लिक सेक्टर के बैंकों ने RBI को 35,000 करोड़ रुपये के लावारिस जमा पैसे ट्रान्सफर किये थे. ये जमा पैसे, पिछले 10 सालों से ज्यादा समय से बैंकों में पड़े हुए थे और 10.24 करोड़ अकाउंटों से इकट्ठा किये गए थे. फरवरी 2023 के अंत में इन पैसों को पब्लिक सेक्टर के बैंकों द्वारा RBI को ट्रान्सफर किया गया था. अगर एक बैंक अकाउंट 10 सालों से ज्यादा समय के लिए निष्क्रिय पड़ा रहता है तो उस अकाउंट में पड़ा पैसा हर महीने RBI के DEA (डिपॉजिटर एजुकेशन एंड अवेयरनेस) फंड में ट्रान्सफर कर दिया जाता है. यहां इस बात पर ध्यान देना जरूरी है कि, लावारिस पड़े इस पैसे पर RBI द्वारा तय किया गया इंटरेस्ट रेट मिलता है, न कि वह इंटरेस्ट रेट जिस पर यह पैसे जमा करवाए गए थे.
लावारिस पड़े पैसों पर ऐसे करें दावा
अगर आपका नाम लिस्ट में है तो आपको पैसों पर दावा करने के लिए बैंक की होम ब्रांच से संपर्क करना होगा और एक क्लेम फॉर्म को भी भरना होगा. इसके बाद आपको डिपॉजिट रिसीप्ट और KYC (अपने कंज्यूमर को जानें) से सम्बंधित दस्तावेजों को जमा करना होगा. अगर आप कानूनी रूप से उत्तराधिकारी या नॉमिनी हैं तो आपको अकाउंट होल्डर का डेथ सर्टिफिकेट भी बैंक में जमा करवाना होगा. उसके बाद बैंक आपके दावे की जांच करेगा और फिर दावा सही होने पर आपको पैसों का भुगतान करेगा. एक बार बैंक द्वारा कस्टमर को भुगतान कर देने के बाद महीने के अंत में बैंक RBI के पास इस दावे से सम्बंधित कागजातों को जमा करवाता है ताकि बैंक को DEA फंड से रिफंड मिल सके.
रेपो-रेट में नहीं होगा बदलाव
कल RBI ने अपनी मोनेटरी पॉलिसी कमेटी की बैठक की थी. RBI ने बयान जारी करते हुए कहा कि मोनेटरी पॉलिसी कमेटी ने फैसला लिया है कि रेपो रेट को 6.5% पर ही स्थिर रखा जाएगा. इन्फ्लेशन की चुनौतियों के बीच पिछले साल मई से लेकर अभी तक RBI प्रमुख पॉलिसी रेट यानी रेपो रेट में लगभग 250 BPS (बेसिस पॉइंट्स) का इजाफा कर चुका है.
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