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अडानी ग्रुप को लेकर आई चौंकाने वाली खबर, इन्वेस्टर्स की बढ़ जाएगी चिंता
फिच समूह की यूनिट क्रेडिटसाइट्स (CreditSights) ने अपनी रिपोर्ट में अडानी ग्रुप की आर्थिक सेहत को लेकर जानकारी दी है.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
बिजनेसमैन गौतम अडानी आक्रामक ढंग से अपने कारोबार को बढ़ा रहे हैं. दौलत के मामले में मुकेश अंबानी को पीछे छोड़ चुके अडानी ने अब मीडिया सेक्टर में धाक जमाने के लिए NDTV खरीद लिया है. इस बीच, एक रिपोर्ट सामने आई है, जिसने अडानी ग्रुप की कंपनियों में निवेश करने वालों को चिंता में डाल दिया है. यदि आपने भी अडानी समूह की कंपनियों में पैसा लगाया है, तो ये खबर आपके काम की है.
कर्ज से हो रहा विस्तार
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, फिच समूह की यूनिट क्रेडिटसाइट्स (CreditSights) की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि अडानी ग्रुप ने काफी ज्यादा कर्ज लिया हुआ है. जिसका इस्तेमाल वो अपने मौजूदा और नए कारोबार में आक्रामक तरीके से निवेश करने के लिए कर रहा है. रिपोर्ट में यह भी कहा कि स्थिति बिगड़ने पर अडानी समूह की एक या एक से अधिक कंपनियों के लिए संकटपूर्ण या डिफॉल्ट की स्थिति पैदा हो सकती है.
कई सेक्टर्स में मौजूदगी
अडानी समूह ने 1980 के दशक में जिंस कारोबारी के रूप में काम शुरू किया था और आज वह कई सेक्टर्स में अपनी मौजूदगी दर्ज करा रहा है. बंदरगाह, बिजली संयंत्र, हवाईअड्डा, डेटा सेंटर तथा रक्षा जैसे क्षेत्रों के साथ-साथ मीडिया में भी अंबानी समूह की उपस्थिति है. हाल ही में समूह ने होल्सिम की भारतीय इकाइयों का 10.5 अरब डॉलर में अधिग्रहण कर सीमेंट और एल्युमिना विनिर्माण क्षेत्र में कदम रखा है.
ग्रुप पर इतना है कर्ज
रिपोर्ट के अनुसार, अडानी ग्रुप ने पिछले कुछ साल में आक्रामक विस्तार की योजना अपनाई है. इससे कर्ज और नकदी प्रवाह पर दबाव पड़ा है. क्रेडिटसाइट्स की रिपोर्ट में कहा गया है कि अडाणी समूह तेजी से नए और अलग-अलग कारोबार में कदम रख रहा है. इससे निगरानी के स्तर पर क्रियान्वयन को लेकर जोखिम बढ़ा है. अडानी ग्रुप की घरेलू शेयर बाजार में छह सूचीबद्ध कंपनियां हैं और इसके समूह की कुछ संस्थाओं के पास अमेरिकी डॉलर बॉन्ड को लेकर बकाया भी है. समूह की इन छह कंपनियों के ऊपर 2021-22 में 2,309 अरब रुपए का कर्ज था. समूह के पास उपलब्ध नकदी को निकालने के बाद शुद्ध रूप से कर्ज 1,729 अरब रुपए बैठता है.
तीसरा सबसे बड़ा उद्योग समूह
डिटसाइट्स का कहना है कि कर्ज के चलते पूरे समूह के बारे में चिंता उत्पन्न हुई है. बता दें कि रिलायंस इंडस्ट्रीज और टाटा समूह के बाद अडानी ग्रुप देश में तीसरा सबसे बड़ा उद्योग समूह है. इसका कुल बाजार पूंजीकरण 200 अरब डॉलर से अधिक है. बीते कुछ समय में अडानी ग्रुप ने तेजी से अपने मौजूदा कारोबार का विस्तार करने के साथ नये क्षेत्रों में भी कदम रखा है.
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