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क्या 8 प्रतिशत को पार कर जाएगी भारत की ग्रोथ रेट, आखिर क्यों ऐसा कह रही है ये रिपोर्ट?
भारत की ग्रोथ रेट को लेकर आरबीआई के अनुमान से ज्यादा इस एजेंसी की रिपोर्ट बता रही है कि ये 8 प्रतिशत को पार कर सकती है.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 8 months ago
भारत की विकास दर को लेकर इक्रा रेटिंग्स ने अनुमान लगाया है कि वो पहली तिमाही में 8.5 प्रतिशत रह सकती है.सबसे दिलचस्प बात ये है कि जनवरी से लेकर मार्च तक की तिमाही में भारत की विकास दर 6.1 प्रतिशत रही थी. ये उससे काफी ज्यादा है. रिपोर्ट ये भी बताती है कि अगली तिमाही में कम हो सकती है क्योंकि जीडीपी को कई वजहों से दबाव झेलना पड़ सकता है.
क्या कहती है एजेंसी की इकोनॉमिस्ट
इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नॉयर कहती हैं कि हालांकि ये अनुमान रिजर्व बैंक के अनुमान से ज्यादा है. इक्रा ने इस ग्रोथ रेट के लिए सर्विस सेक्टर में बेहतरीन परफॉरर्मेस को वजह बताया है. उन्होंने कहा कि दूसरी छमाही भारत की अर्थव्यवस्था के लिए भारी हो सकती हैं. ऐसे में काफी निराशा हाथ लग सकती है. उन्होंने कहा कि हाल ही में जिस तरह से अनियमित बारिश हुई है ,कमोडिटी की कीमतों में अंतर आया है और महंगाई बढ़ी है, ये विकास दर को सीमित कर सकते हैं. आरबीआई के अनुमान के अनुसार दूसरी तिमाही में विकास दर 6.5 प्रतिशत रह सकती है जबकि ये उससे कम 6 प्रतिशत रह सकती है.
क्या रहेंगे इसके कारण?
अदिति नायर ने कहा कि उसमें उनमें बेमौसम बारिश, महंगाई का बरकरार रहना और बाहरी मांग में आने वाली कमी इसके प्रमुख कारण रह सकते हैं. उन्होंने पहली तिमाही के बेहतर रहने पीछे जो वजह रही है उसे लेकर कहा कि सेवाओं की मांग में लगातार बढ़ोतरी और निवेश गतिविधि में सुधार, महंगाई में तेजी से कम होना जैसे कारणों ने जीडीपी पर दबाव को कम किया है. एजेंसी का अनुमान है कि निवेश से संबंध रखने वाले अधिकांश संकेतों के मजबूत रहने के कारण भी बेहतरीन नतीजे देखने को मिले हैं. भारत सरकार के सकल पूंजी व्यय में 76 प्रतिशत का इजाफा देखने को मिला है और 2.8 करोड़ हो गया है.
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