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50 रुपये से 20 करोड़ तक का सफर, जानिए राजू श्रीवास्तव के संघर्ष की कहानी
मिमिक्री का तो उन्हें शुरू से ही शौक रहा. स्कूल में वे अपने टीचर्स की मिमिक्री किया करते थे.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
नई दिल्ली: सिर्फ 58 साल की उम्र में मशहूर कॉमेडियन राजू श्रीवास्तव का निधन हो गया. वे 42 दिन तक जिंदगी और मौत के बीच जूझते रहे. बीच में उनकी हालत में थोड़ी सुधार भी दिखनी शुरू हुई थी, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका. 10 अगस्त को कार्डियक अरेस्ट के बाद उन्हें दिल्ली के AIIMS में भर्ती कराया गया था.
पिता थे मशहूर कवि
राजू श्रीवास्तव का जन्म 25 दिसंबर, 1963 को उत्तर प्रदेश के कानपुर में हुआ. उनके पिता रमेशचंद्र श्रीवास्तव एक प्रसिद कवि थे. राजू को बचपन से ही कॉमेडी करने का शौक था. वे हमेशा सबको हंसाने की कोशिश करते रहते थे. ऐसा कहा जाता था कि जो भी राजू के पास बैठा रहता था, वो कभी मायूस नहीं हो सकता था. वे माहौल को कभी बोझिल नहीं होने देते थे.
मिमिक्री का शुरू से शौक
मिमिक्री का तो उन्हें शुरू से ही शौक रहा. स्कूल में वे अपने टीचर्स की मिमिक्री किया करते थे. स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्रता दिवस के मौके पर वे अपने स्कूल में सबके सामने स्टेज पर सभी टीचर्स की मिमिक्री किया करते थे. उनकी मिमिक्री इतनी जबर्दस्त होती थी कि कोई हंसे बिना नहीं रह सकता था. जैसे-जैसे वे बड़े होते गए, कॉमेडी की दुनिया में नाम कमाने के बारे में सोचने लगे. इसके लिए उन्हें सबसे पहले मुंबई आना था, जो एक मिडिल क्लास परिवार के होने के कारण उनके लिए बिल्कुल भी आसान नहीं था. इसमें उनकी मां ने उनका साथ दिया.
राजू श्रीवास्तव के संघर्ष के दिन
राजू श्रीवास्तव ने एक इंटरव्यू में बताया था कि अपनी मां के सपोर्ट के कारण ही वे मुंबई आ सके. उनके जीवन का असली संघर्ष तो मुंबई पहुंचने के बाद शुरू हुआ. उन्होंने बताया था कि जब वे मुंबई पहुंचे तो उन्हें कोई जानता नहीं था. उस वक्त कॉमेडी के बारे में भी लोगों की सोच बहुत बड़ी नहीं थी. लोग कॉमेडी का मतलब सिर्फ जॉनी लीवर ही समझते थे. उन्हें कोई काम नहीं मिल पा रहा था, इसलिए पेट पालने के लिए ऑटो चलाना शुरू कर दिया. वे अपने चुटकुले से ऑटो में बैठी सवारियों का मनोरंजन किया करते थे. खुश होकर कई सवारियां उन्हें किराया के अलावा कुछ टिप भी दे देती थीं.
उनके एक पैसेंजर ने दिलवाया ब्रेक
राजू श्रीवास्तव ने इंटरव्यू उस यात्री का धन्यवाद किया था, जिसकी वजह से उन्हें पहली बार स्टैंडअप कॉमेडियन बनने का मौका मिला. उन्होंने बताया था कि एक बार ऑटो में एक यात्री उनके चुटकुले से इतना प्रभावित हुआ कि उन्हें स्टैंडअप कॉमेडी करने का मौका मिला. उस वक्त वे अमिताभ बच्चन की जबर्दस्त कॉमेडी किया करते थे. उस शो के दौरान उन्होंने लोगों का अमिताभ बच्चन की मिमिक्री कर काफी तारीफें बटोरीं. उन्हें उसके बदले 50 रुपये मिले थे.
संघर्ष के दिनों में वे बर्थडे पार्टी में भी करते थे कॉमेडी
उन्होंने बताया था कि संघर्ष के दिनों में वे बर्थडे पार्टी में भी जाकर कॉमेडी किया करते थे, जिसके बदले उन्हें 50 रुपये ही मिलते थे. उन्हें असली पहचान लाफ्टर चैलेंज से मिली. वे द ग्रेट इंडियन लाफ्टर चैलेंज में उपविजेता रहे थे, जिसमें उन्होंने गजोधर भैया का किरदार निभाया था.
राजू श्रीवास्तव की कितनी नेट वर्थ
कुछ रिपोर्ट्स में यह बताया गया है कि उनकी नेट वर्थ करीब 20 करोड़ रुपये थी. उनके पास इनोवा, बीएमडब्लू 3 और ऑडी क्यू7 जैसी गाड़ियां थीं. वे एक स्टेज शो के 4 से 5 लाख रुपये चार्ज करते थे. उनकी कमाई का यही मुख्य जरिया था.
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