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BW Disrupt:सफलता के लिए खुद की रिस्पेक्ट और ट्रस्ट करना जरूरी
सबसे अहम ये है कि लाइफ में बैलेंस कुछ नहीं होता है या तो आप पास होते हैं या फिर फेल होते हैं. अगर फेल होते हैं तो कोई बात नहीं दोबारा मेहनत कीजिए.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 9 months ago
BW Techtors और BW Wesa Entreoreneurship के 5th Edition के पहले सेशन में शामिल रही महिला फाउंडरों ने कई अहम मामलों को लेकर अपनी बात कही. किसी ने जहां आज भी सोसाइटी के स्टीरियो टाइप बिहेवियर को लेकर बात कही, तो वहीं दूसरी ओर किसी ने बताया कि उन्हें अपना काम शुरू करने में किस तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ा. इस कार्यक्रम में BW Businessworld के एडिटर-इन-चीफ और एक्सचेंज4मीडिया के फाउंडर डॉ. अनुराग बत्रा भी मौजूद रहे.
किसी भी फाउंडर को रिजिड नहीं होना चाहिए
इस सेशन को संबोधित करते हुए Manetain Store की Co-Founder हिंसारा हबीब ने कहा कि एक फाउंडर होते हुए आपको कभी भी रिजिड नहीं होना चाहिए. क्योंकि बहुत सारे लोग हैं जो चीजों को आपसे बेहतर जान सकते हैं. हम जिन चीजों को मिस कर रहे हैं उनके लिए कोई दूसरा बेहतर आइडिया दे सकता है. मैं केरल के एक मुस्लिम परिवार से आती हूं. मुझे इस बात को लेकर बहुत फक्र है कि मेरे परिवार ने मुझे अपने वेंचर को लेकर काम करने दिया. उन्होंने अपनी वर्किंग स्थिति के बारे में बताते हुए कहा कि मैं ये तय करती हूं कि मुझे एक हफ्ते में क्या अचीव करना है. उसका हर दिन आंकलन करती हूं. कई बार हम अपने लिए टारगेट सेट करते हैं. उन्होंने कहा कि अगर मुझे लगता है कि आपको अपना कुछ शुरू करना है तो आगे बढि़ए और शुरू करिए.
खुद पर विश्वास करना बहुत जरूरी है
Erisha E Mobility की COO अंशु परमार ने अपने बिजनेस के बारे में बताते हुए कहा कि मैं एक मध्यमवर्ग्रीय परिवार से आती हूं. मैं अपने परिवार पहली हूं जिसे परिवार से बाहर आकर काम करने का मौका मिला. E Mobility को लेकर काम कर रहे हैं, जिसमें हम दूसरी कई हमारे सेक्टर की कंपनियों से बेहतर कर रहे हैं. उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि अगर आप अपने आपको प्यार नहीं करेंगे तो आप कुछ नहीं कर सकते हैं. आप अपने आप में विश्वास भी नहीं जगा सकते हैं. ऐसे में जरूरी ये है कि आपअपनी देखभाल करते रहिए. पुरुष प्रधान समाज की बात पर अपनी बात कहते हुए उन्होंने कहा कि आपको उन सभी महिलाओं के ग्रुप को ज्वॉइन करना चाहिए. साथ ही आपको अपने पर पूरा विश्वास रखना चाहिए.
महिला सशक्त होती है तो परिवार सशक्त होता है
People Tree Foundation की फाउंडर और मैनेजिंग ट्रस्टी स्मिता रॉय ने अपने बिजनेस मॉडल के बारे में बताते हुए कहा कि हम लोग टेक्सटाइल वेस्ट को लेकर काम करते हैं. जो टेक्सटाइल वेस्ट होता है हम उससे प्रोडक्ट बनाते हैं. उसे कई प्लेटफॉर्म पर सेल करते हैं. इस वेस्ट को जो बेहतरीन प्रोडक्ट में बदलती हैं वो स्लम में काम करने वाली महिलाए हैं, जो मेहनत से काम करके ऐसा करती हैं. वो इससे कुशन कवर, बैग्स, और दूसरी कई चीज बनाती हैं. हमारे पास एक स्कूल भी है. वहां 60 स्टूडेंट हैं, अगर हम किसी महिला को सशक्त बनाते हैं, तो पूरा परिवार सशक्त होता है. क्योंकि औरत के पास और भी जिम्मेदारी होती है.
वो लोग ये सोचते रहते हैं कि तुम शादी कर लोगी और उसके बाद मेटरनिटी लीव फिर क्या होगा. लेकिन हम लोगों को उन्हें भरोसा दिलाना पड़ता है कि ऐसा कुछ नहीं है. अपने बिजनेस के बारे में और बताते हुए उन्होंने कहा कि मेरे लिए भी प्रॉफिट अहम है. मेरे साथ 52 महिलाएं काम कर रही हैं. दिल्ली में हम लोग कॉपरेटिव सोसाइटी में रजिस्टर्ड हैं. हम उन्हें सिखाते हैं कि अगरबत्ती ब्लॉक प्रिंटिंग, जैसे कई काम कैसे कर सकते हैं. लाइफ में कैसे बैलेंस बनाया जाए इसे लेकर उन्होंने कहा कि जिंदगी में बैलेंस कुछ नहीं हो सकता है या तो आप फेल हो सकते हैं या पास होते हैं. अगर आप फेल होते हैं तो कोई बात नहीं.
मैंने चुनौतियों से कभी हार नहीं मानी
मदर्स कीचन की CEO और फाउंडर शिवानी मलिक ने अपने बिजनेस मॉडल के बारे में बताया कि उन्होंने किन परिस्थितियों में उसकी शुरूआत की. उन्होंने बताया कि मैंने इसकी शुरुआत तब की जब मैं सेपरेट हुई थी. हम वीगन प्रोडक्ट को एक्सपोर्ट करते हैं. अपने बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि मैं इंडियन हाई कमीशन में वीजा ऑफिसर के तौर पर काम कर रही थी. लेकिन अपने फाइनेंस को मैनेज करने के लिए ग्लूटन फ्री आटे के पराठे बनाकर उसे सेल करना शुरू किया.
उन्होंने कहा कि मैं नहीं जानती थी कि कैसे बिजनेस किया जाता है. कैसे कंटेनर मंगाया जाता है. उन्होंने अपने बिजनेस की परिस्थितियों के बारे में बताया कि वो अपने बिजनेस की मालिक और सेल्स गर्ल भी खुद थी. उन्होंने मेल डॉमिनेटिंग सोसाइटी को लेकर कहा कि सोसाइटी समझती है कि महिलाएं अच्छी निवेशक नहीं बन सकती है. वो केवल बेहतर पैस पार्लर में ही खर्च करना चाहती है. लेकिन ऐसा नहीं है. आज तस्वीर बदल रही है.
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