होम / बिजनेस / सोना सस्ता फिर भी नहीं खरीद रहे लोग! अचानक मांग में क्यों आई गिरावट?
सोना सस्ता फिर भी नहीं खरीद रहे लोग! अचानक मांग में क्यों आई गिरावट?
सोने की खरीद को लेकर भारत में एक भावनात्मक लगाव रहता है, लेकिन इस भावनात्मक लगाव पर महंगाई भारी पड़ गई है.
बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो 1 year ago
नई दिल्ली: भारत में गोल्ड की डिमांड में कमी आ सकती है, वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (WGC) के मुताबिक अक्टूबर से दिसंबर के महीनों में भारत की सोने की खपत में एक साल पहले की तुलना में लगभग एक चौथाई की गिरावट आ सकती है. ऐसा तब हो रहा है जब सोने की कीमतों में गिरावट देखी जा रही है, यानी सोना सस्ता है फिर भी लोग नहीं खरीद रहे हैं.
महंगाई पड़ रही भारी
सोने की खरीद को लेकर भारत में एक भावनात्मक लगाव रहता है, लेकिन इस भावनात्मक लगाव पर महंगाई भारी पड़ गई है. वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल की रिपोर्ट में कहा गया है कि सोने की डिमांड में गिरावट की बड़ी वजह महंगाई के चलते ग्रामीण इलाकों से डिमांड में आई कमी है. भारत जो कि दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा गोल्ड कंज्यूमर है, अगर खरीदारी कम करता है तो सोने की कीमतों पर असर पड़ सकता है, जो दो साल से अधिक समय में अपने सबसे निचले स्तर के करीब कारोबार कर रहा है.
इंपोर्ट घटेगा, व्यापार घाटा कम होगा
हालांकि सोने की डिमांड कम होने से इंपोर्ट कम होगा और इससे भारत के व्यापार घाटे को कम करने में भी मदद मिल सकती है, इससे रुपये को भी थोड़ा सपोर्ट मिल सकता है. ऊंची महंगाई दर से ग्रामीण मांग पर अंकुश लगने की संभावना है, जो पिछले साल के COVID-19 के लिये लगाए गए लॉकडाउन के कारण हुए व्यवधान से उबरने लगी थी, WGC के भारतीय परिचालन के क्षेत्रीय मुख्य कार्यकारी अधिकारी सोमसुंदरम पीआर ने Reuters को ये बताया है. भारत की सोने की दो-तिहाई मांग आमतौर पर ग्रामीण क्षेत्रों से आती है, जहां पर ज्वेलरी के रूप में सोने का एक पारंपरिक भंडार है.
कितनी कम रहेगी डिमांड
सोमसुंदरम ने कहा कि दिसंबर तिमाही में भारत की सोने की मांग एक साल पहले के 343.9 टन से गिरकर करीब 250 टन रह सकती है. उन्होंने कहा कि गिरावट 2022 में भारत की कुल सोने की खपत को लगभग 750 टन तक ला सकती है, जो पिछले साल के 797.3 टन से 6% कम है. WGC ने आज छपी एक रिपोर्ट में कहा कि त्योहारों के चलते आभूषणों की बिक्री बढ़ने से भारत में सोने की मांग एक साल पहले के मुकाबले 14 परसेंट बढ़कर 191.7 टन हो गई. सितंबर में भारत की सालाना महंगाई दर 7% से ऊपर और रिजर्व बैंक की तय सीमा से काफी ऊपर बनी हुई है. इस बार भी संभावना है कि केंद्रीय बैंक अगली मॉनिटरी पॉलिसी में ब्याज दरें बढ़ाएगा.
VIDEO: इस दिवाली पटाखों के जानलेवा प्रदूषण से खुद को कैसे बचाएं, अपनाएं ये जरूरी 6 टिप्स
टैग्स