Airbnb की रिपोर्ट बताती है कि अंतरराष्ट्रीय यात्रा के लिए भारतीयों के रुझान में तेजी आई है. वहीं, देश में घूमने वालों के लिए गोवा हॉट डेस्टिनेशन बना हुआ है.
छुट्टियों के लिए विदेश जाने वालों की संख्या में इजाफा हुआ है. एयरबीएनबी के डेटा अनुसार वर्ष 2022 की पहली तिमाही के मुकाबले वर्ष 2023 की पहली तिमाही में भारतीय यात्रियों द्वारा अंतरराष्ट्रीय यात्रा के लिए की जाने वाली रातों की बुकिंग (Night Booking on Airbnb) की संख्या दोगुनी से भी अधिक हो गई है. विदेश जाने वालों के बीच यूनाइटेड किंगडम, अमेरिका और विभिन्न यूरोपीय देश सबसे लोकप्रिय जगहों के तौर पर सामने आए हैं. वहीं, अगर घरेलू यात्रा की बात करें, तो गोवा, बेंगलुरु, पुणे, दिल्ली और कुल्लू पर्यटकों की पहली पसंद हैं.
Goa हॉट डेस्टिनेशन
Airbnb की रिपोर्ट बताती है कि अंतरराष्ट्रीय यात्रा के लिए भारतीयों के रुझान में तेजी आई है. वहीं, देश में घूमने वालों के लिए गोवा हॉट डेस्टिनेशन बना हुआ है. सबसे ज्यादा बुकिंग गोवा के लिए ही हो रही हैं. इसके बाद बेंगलुरु, पुणे, दिल्ली और कुल्लू का नंबर आता है. एयरबीएनबी के अनुसार, अंतरराष्ट्रीय यात्रियों के बीच भारत आने को लेकर उत्साह बढ़ रहा है और वे देश की समृद्ध संस्कृति और विरासत का हिस्सा बनना चाहते हैं. भारत आने वाले Airbnb के अतिथियों में सबसे ज्यादा संख्या अमेरिकी सैलानियों की है. इसके बाद UK, जर्मनी, ऑस्ट्रेलिया और कनाडा के टूरिस्ट शामिल रहे.
सोलो ट्रैवलर्स की बढ़ी संख्या
एयरबीएनबी भारत, दक्षिण पूर्व एशिया, हॉन्ग कॉन्ग और ताइवान के लिए जनरल मैनेजर अमनप्रीत सिंह बजाज ने कहा कि यात्रा को लेकर लोगों में उत्साह देखने को मिल रहा है. उन्होंने कहा कि हम सरकार और उद्योग से जुड़े विभिन्न पक्षों के साथ मिलकर काम कर रहे हैं ताकि यात्रा के क्षेत्र में हो रहे सुधार को गति दी जा सके. Airbnb के अनुसार, 2023 में लोगों ने कम लोकप्रिय जगहों पर जाने में काफी दिलचस्पी दिखाई, इससे यात्रियों को बिना किसी पूर्वाग्रह के नई जगहों के बारे में जानने का अवसर मिलता है. इसके अलावा, अकेले यात्रा यानी सोलो ट्रैवल करने वाले लोगों की संख्या बढ़ रही है. एयरबीएनबी के डेटा से पता चलता है कि पिछले वर्ष की समान अवधि की तुलना में भारत में सोलो ट्रैवल करने वाले लोगों की संख्या लगभग दोगुनी हो गई है.
यूनिक प्लेस पसंद
रिपोर्ट में बताया गया है कि एयरबीएनबी पर परिवार के साथ यात्रा करना भारतीयों के बीच सबसे लोकप्रिय रहा और सालाना आधार पर इसमें 110 फीसदी से अधिक की बढ़ोतरी देखने को मिली. एयरबीएनबी के माध्यम से मिलने वाली रहने की जगहें परिवारों के लिहाज से उपयुक्त होती हैं और करीब 90 फीसदी स्थानों पर किचन होती हैं, करीब एक चौथाई जगहों पर तीन बेडरूम या इससे ज्यादा कमरे होते हैं और एयरबीएनबी की 10 लाख से ज्यादा जगहें ऐसी हैं जहां छोटे बच्चों के लिए क्रिब हैं. इसके अलावा, रहने की लीक से हटकर जगहों की मांग लगातार बढ़ती जा रही है, जो पारंपरिक जगहों से अलग होती हैं. उदाहरण के लिए यात्री ट्रीहाउस, हाउसबोट और फार्म स्टे जैसी जगहों पर रहना चाहते हैं.
पीएम मोदी पर टिप्पणी के बाद से भारतीय पर्यटकों का मालदीव से मोह भंग हो गया है.
भारतीयों को नाराज करने की मालदीव (Maldives) बड़ी कीमत चुका रहा है. इंडियन टूरिस्ट के मुंह मोड़ने के चलते मालदीव की टूरिज्म इंडस्ट्री मुश्किलों में घिर गई है. मालदीव की मोहम्मद मुइज्जू सरकार को भी अब समझ आ गया है कि भारतीयों का ज्यादा दिनों तक नाराज रहना उसे बर्बाद कर देगा. इसलिए वह रूठे भारत को मनाने की कोशिश में जुट गई है. हाल ही में मालदीव एसोसिएशन ऑफ ट्रेवल एजेंट्स एंड टूर ऑपरेटर्स (MATATO) ने पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए मालदीव में भारतीय उच्चायुक्त मुनु महावर से मुलाकात की.
अब Road Show की तैयारी
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, मालदीव एसोसिएशन ने पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए भारतीय उच्चायोग से सहयोग की इच्छा जताई है. एसोसिएशन मालदीव में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए भारत के प्रमुख शहरों में एक व्यापक रोड शो शुरू करने की भी तैयारी कर रही है. दरअसल, MATATO की कोशिश है कि भारतीय पर्यटकों को मालदीव के बारे में ज्यादा से ज्यादा बताया जाए, उन्हें देश की खूबसूरती से परिचित कराया जाए, ताकि मालदीव आने वाले भारतीयों की संख्या में इजाफा हो सके. पिछले साल हुए विवाद से बाद से भारतीयों ने मालदीव से दूरी बनाई हुई है.
ये है मालदीव की चिंता की वजह
विवाद से पहले तक मालदीव पहुंचने वाले पर्यटकों में सबसे ज्यादा संख्या भारतीयों की रही है. यहां तक कि कोरोना के बाद जब मालदीव को पर्यटकों के लिए खोला गया, तो भारतीय ही सबसे ज्यादा वहां पहुंचे थे. हालांकि, विवाद के बाद से इसमें लगातार कमी आ रही है. मालदीव की मोहम्मद मुइज्जू सरकार के पर्यटन मंत्रालय के आंकड़े बताते हैं कि भारतीय पर्यटकों की संख्या में 33 प्रतिशत की गिरावट आई है. पिछले साल यानी 2023 में 4 मार्च तक 41,054 भारतीय पर्यटकों ने मालदीव की यात्रा की थी. जबकि इस साल 2 मार्च तक मालदीव जाने वाले भारतीयों की संख्या केवल 27,224 रही. मालदीव की इकॉनमी में भारतीय पर्यटकों का 11% योगदान बताया जाता है. ऐसे में उनका लंबे समय तक नाराज रहना मालदीव की आर्थिक सेहत बिगाड़ सकता है.
बेकार हो गई सरकार की ये कोशिश
करीब 4 लाख की आबादी वाले मालदीव में धिवेही और इंग्लिश भाषा बोली जाती है. मालदीव जलवायु परिवर्तन का सामना कर रहा है. इसका कोई भी द्वीप समुद्र तल से छह फुट से अधिक ऊंचा नहीं है. इस देश की अर्थव्यवस्था पर्यटन पर टिकी हुई है. 2023 में बड़ी संख्या में भारतीय मालदीप गए थे और उन्होंने 38 करोड़ डॉलर यानी करीब 3,152 करोड़ रुपए खर्च किए थे. भारत से विवाद के बीच पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए मालदीव ने हाल ही में अपने यहां घूमने का खर्चा भी आधा कर दिया था, लेकिन इसका खास फायदा नहीं मिला. इसलिए अब मालदीव भारत के शहरों में रोड शो करने जा रहा है.
ऐसे शुरू हुईं मालदीव की मुश्किलें
अब यह भी जान लेते हैं कि आखिर मालदीव भारत और भारतीयों को नाराज करने की स्थिति में कैसे पहुंचा. भारत और मालदीव के बीच तनाव की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लक्षद्वीप दौरे के बाद हुई. सोशल मीडिया पर लक्षद्वीप की मालदीव से तुलना मालदीव के तीन मंत्रियों को रास नहीं आई. उन्होंने भारत को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की और भारतीयों की दुश्मनी मोल ले बैठे. भारत की कड़ी प्रतिक्रिया के बाद भले ही इन तीनों मंत्रियों को हटा दिया गया हो, लेकिन मालदीव के प्रति लोगों का गुस्सा कम नहीं हुआ. सोशल मीडिया पर #BoycottMaldives ट्रेंड करने लगा. कई भारतीयों ने मालदीव की बुकिंग कैंसल कराकर उसका स्क्रीन शॉट सोशल माडिया पर शेयर किया. यहां से मालदीव की मुश्किलें शुरू हो गईं
भारतीय रेलवे समय-समय पर टूर पैकेज निकालता है, जिनका आनंद आप अपने पूरे परिवार के साथ ले सकते हैं. IRCTC के नए टूर पैकेज में आप दुनिया के स्वर्ग कहे जाने वाले कश्मीर की यात्रा कर सकते हैं.
गर्मी में सभी लोग छुट्टी बिताने के लिए कहीं जाना चाहते हैं साथ ही गर्मी में सभी को ठंडी जगह जाने का मन करता है और सभी अपने जीवन में एक बार कश्मीर भी जाना चाहते हैं अगर आप भी इस गर्मी में जन्नत यानि कश्मीर जाने का मन बना रहे हैं तो आज हम आपको बताएंगे कि आप एकदम सस्ते में कश्मीर कैसे जा सकते हैं.
IRCTC लेकर आया शानदार पैकेज
भारतीय रेल एक बार फिर कुछ दिलचस्प पैकेज लेकर आई है, जिसके जरिए आप एक साथ कई जगह घूमने का प्लान बना सकते हैं. अक्सर जब ट्रिप प्लान करते हैं तो हम एक ही जगह घूमने की प्लानिंग करते हैं. लेकिन IRCTC के इस टूर पैकेज में आप एक ही पैकेज में आसपास की कुछ मजेदार जगह एक साथ घूम सकते हैं. इन टूर पैकेज में आपकी सिर्फ यात्रा ही नहीं बल्कि आपके होटल के कमरे, घूमने की कैब से लेकर आपके खाने तक जैसी सारी प्लानिंग होती है. यानी भारतीय रेलवे आपकी हर सुविधा का ध्यान रखती है.
पैकेज से देख पाएंगे खूबसूरत वादियां
आईआरसीटीसी पैकेज का नाम- जन्नत-ए-कश्मीर पूर्व लखनऊ
पैकेज में शामिल- एयर फेयर, बस, होटल, खाना, बीमा
टूर अवधि- ये टूर 5 रात और 6 दिन का होगा
यात्रा पहले दिन सुबह 7.20 बजे लखनऊ एयरपोर्ट से शुरू होगी.
टूर में शामिल- श्रीनगर, सोनमर्ग, पहलगाम, गुलमर्ग
क्या-क्या देख पाएंगे?
इस टूर में आपको सोनमर्ग की यात्रा कराई जाएगी, जहां सिंध नदी बहती है. गुलमर्ग ‘गुलमर्ग गोंडोला’ के लिए फेमस है जो दुनिया की सबसी ऊंची केबल कारों में से एक है. आप यहां खिलनमर्ग भी जा सकते हैं. इस यात्रा में आप केसर के खेत और अवंतीपुर खंडहर भी देख पाएंगे. शंकराचार्य मंदिर के दर्शन, डल झील के किनारे स्थित प्रसिद्ध हजरतबल तीर्थ जैसी चीजें आप देख पाएंगे.
कितना आएगा खर्च
पैकेज के किराए की बात करें तो इस टूर के लिए प्रति व्यक्ति आपको 53,750 रुपए भुगतान करना होगा. वहीं दो व्यक्तियों के लिए ये लागत प्रति व्यक्ति 48,300 रुपए होगी. अगर आपके साथ 5 से 11 साल का बच्चा है तो ये पैकेज आपको 39,900 रुपए में होगा. वहीं अगर आपका बच्चा बिना बिस्तर वाला है यानी 2 से 4 साल के बच्चे के साथ आपको इस पैकेज में प्रति व्यक्ति 27,500 रुपए भुगतान करना होगा.
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WhatsApp अपने करोड़ों यूजर्स के लिए एक खुशखबरी लेकर आया है. अब WhatsApp जल्द ही तीन से ज्यादा कॉन्टैक्ट्स को पिन करने की सुविधा देने जा रहा है.
देश-विदेश में करोड़ों की संख्या में वॉट्सऐप (WhatsApp) के यूजर्स हैं. वॉट्सऐप को लेकर हर किसी की अलग जरूरत होती है. कोई दोस्तों से बातचीत करने के लिए तो कोई आफिशियली भी इसका उपयोग करता है. ऐसे में अपने हर यूजर का खास ख्याल रखते हुए कंपनी लगातार नए अपडेट्स जारी करती रहती है. इसी कड़ी में कंपनी बहुत जल्द 3 से ज्यादा चैट्स को पिन करने की सुविधा लाने जा रही है. अगर आप भी वॉट्सऐप चैट को पिन करते हैं, तो ये आपके लिए बड़ी खुशखबरी है, क्योंकि अब आप ज्यादा चैट्स पिन कर पाएंगे. तो आइए हम आपको बताते हैं कि कैसे काम करेगा ये फीचर्स और किन्हें मिलेगी इसकी सुविधा-
इन यूजर्स को मिलेगी सुविधा
वॉट्सऐप पर चैट पिन करने को लेकर Wabetainfo की एक लेटेस्ट रिपोर्ट सामने आई है. इस रिपोर्ट के अनुसार वॉट्सऐप अपने एंड्रॉइड यूजर्स के लिए यह सुविधा लाने जा रहा है. Google Play Beta Program के साथ वॉट्सऐप 2.24.6.13 वर्जन अपडेट के साथ इस नए बदलाव को देखा जा रहा है. इस नए बदलाव को लेकर इस रिपोर्ट में एक स्क्रीनशॉट भी शेयर किया गया है. इस स्क्रीनशॉट में 3 से ज्यादा चैट्स को पिन करते हुए दिखाया गया है.
पिन फीचर से चैट्स ढूंढ़ने में नहीं होती परेशानी
वॉट्सऐप पर नए मैसेज के साथ चैट टॉप पर नजर आती हैं. कई बार वॉट्सऐप यूजर के लिए कुछ चैट्स बहुत जरूरी होती हैं, जो नए मैसेज के बीच चैट्स लिस्ट में कहीं नीचे पहुंच जाती हैं. इसके बाद यूजर्स को उन काम की चैट्स को खोजने में बहुत परेशानी होती है. इन चैट्स को टॉप पर रखने के लिए वॉट्सऐप पर यूजर्स को पिन फीचर मिलता है. पिन करने के साथ जरूरी चैट्स हमेशा टॉप पर नजर आती हैं.
इतनी वॉट्सऐप चैट्स हो सकेंगी पिन
वॉट्सऐप पर यूजर्स को अब तक केवल 3 ही चैट्स को पिन करने की सुविधा मिल रही है. लेकिन अब वॉट्सऐप जल्द ही तीन से अधिक चैट्स को पिन करने की सुविधा देने वाला है. इसके बाद यूजर्स अपनी जरूरत के आधार पर चैट्स को प्राथमिकता देते हुए उन्हें पिन कर सकेंगे. Wabetainfo की रिपोर्ट की मानें तो वॉट्सऐप पर बहुत जल्द यूजर्स को 5 चैट्स पिन करने का ऑप्शन मिल सकता है. हालांकि, कंपनी का यह फीचर फिलहाल डेवलपमेंट स्टेज पर है. कंपनी अपने यूजर्स के लिए फ्यूचर अपडेट के साथ फीचर पेश कर सकती है
वीजा से लेकर महंगाई और दूसरी कई तरह की परेशानियों के बीच अभी भी भारतीय छोटी विदेशी यात्राओं को करने की तैयारी कर रहे हैं.
भारत के टूरिज्म सेक्टर के लिए इस बार बहार लौटने वाली है. Crisil की रिपोर्ट बता रही है कि इस साल टूरिज्म इंडस्ट्री 30 प्रतिशत की ग्रोथ के साथ आगे बढ़ने की योजना बना रही है. सबसे दिलचस्प बात ये है कि ये कोविड पूर्व की स्थिति से 18 प्रतिशत की ज्यादा ग्रोथ है. रिपोर्ट बता रही है इस साल भारत देश से बाहर घूमने की ज्यादा तैयारी कर रहे हैं.
क्या कह रही है Crisil की ये रिपोर्ट? 11
Crisil की ये रिपोर्ट चार ट्रैवल एजेंसियों के अध्ययन पर आधारित है. इन एजेंसियों में मेक माय ट्रिप, थॉमस कुक लिमिटेड, यात्रा और ईज माय ट्रिप जैसी कंपनियां शामिल है. ये वो कंपनियां हैं जो ट्रैवल सेक्टर में अपनी बड़ी भागीदारी रखती हैं. विदेश यात्राओं के लिए होटल बुकिंग और हवाई यात्रा की बुकिंग को भी देखती है. सर्वे रिपोर्ट ये भी बता रही है कि वीजा और कई तरह की परेशानियों के बीच फिर भी यात्रा को लेकर उत्साह बना हुआ है.
क्या कहती हैं Crisil की निदेशक?
Crisil की निदेशक पूनम उपाध्याय कहती हैं कि उच्च ब्याज दरों के बावजूद करों में बढोतरी का असर मामूली बना हुआ है. क्योंकि 80 प्रतिशत यात्राएं ऐसी हैं जिनका प्रति व्यक्ति खर्च 7 लाख रुपये से कम है. केन्द्र सरकार ने एक वित्तिय वर्ष में प्रति व्यक्ति खर्च पर 7 लाख रुपये से अधिक खर्च वाले टैक्स की सीमा को बढ़ाकर 5 प्रतिशत से 20 प्रतिशत कर दिया था. हालांकि ट्रैवल ऑपरेटर को इसमें कई तरह की चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने ये भी कहा कि विदेशी यात्राओं में छोटी दूरी की यात्राओं को लेकर ज्यादा उत्साह नजर आ रहा है जैसा पिछले साल देखने को मिला था.
क्या स्थिति है देश की घरेलू यात्रा बाजार की
क्रिसिल की इस रिपोर्ट में इस बारे में नहीं बताया गया है कि देश का घरेलू यात्रा बाजार अभी भी कोविड पूर्व स्थितियों में लौटा है या नहीं. आंकड़े बता रहे हैं कि 2019 में लगभग 109 मिलियन लोगों ने यात्रा की थी जबकि इस वर्ष जनवरी से अप्रैल तक केवल 3.1 मिलियन लोगों ने यात्रा की.
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KIBCF की डायरेक्टर Miss Zena Chung इस विषय में अयोध्या के राम मंदिर से जुड़े अधिकारियों और संस्थाओं से बातचीत कर रही हैं.
भारत पूरी दुनिया के साथ 'वसुधैव कुटुंबकम्' के संदेश के साथ जुड़ा हुआ है. जिस तरह भारत दुनिया के अन्य देशों की संस्कृति का सम्मान करता है उसी प्रकार दुनिया के अन्य देश भी हमारी संस्कृति का सम्मान करते हैं. ऐसा ही एक देश कोरिया भी है. अब खबर आ रही है कि दक्षिणी कोरिया के Gimhae शहर में अयोध्या की तर्ज पर भव्य राम मंदिर बनाया जाएगा.
रानी Heo Hwang Ok और भारत का रिश्ता
KIBCF (कोरिया इंडिया बिजनेस एंड कल्चरल फॉरम) की डायरेक्टर Miss Zena Chung इस विषय में अयोध्या के राम मंदिर से जुड़े अधिकारियों और संस्थाओं से बातचीत कर रही हैं. Miss Zena Chung ने साल 2020 में कोरिया में एक डॉक्यूमेंट्री फिल्म बनाई थी जिसे भारत और कोरिया, दोनों ही देशों में बहुत पसंद किया गया था. यह डॉक्यूमेंट्री अयोध्या की राजकुमारी सूरी रत्न की यात्रा पर आधारित थी. माना जाता है कि राजकुमारी सूरी रत्न, भगवान राम की बहन थीं और उन्होंने समुद्री यात्रा करके कोरियाई राजा Kim Suro से विवाह किया था जिसके बाद उन्हें रानी Heo Hwang Ok के नाम से पहचान मिली. ज्यादातर कोरियाई लोग रानी Heo Hwang Ok को ही अपना पूर्वज मानते हैं और Gimhae शहर में इनकी काफी मशहूर समाधि भी है.
कोरिया से उत्तर प्रदेश का नाता है पुराना
साल 2018 में कोरिया की फर्स्ट लेडी Sook Jung Kim अयोध्या में रानी Heo मेमोरियल पार्क के पुनर्निर्माण के शिलान्यास कार्यक्रम में हिस्सा लेने आईं थीं. रानी Heo मेमोरियल पार्क का पुननिर्माण उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा करवाया गया था. इतना ही नहीं, मार्च 2016 में 38 सदस्यों का एक कोरियाई डेलीगेशन भारत आया था और इस मेमोरियल को और विकसित करने की मांग की थी जिसे मुख्यमंत्री द्वारा मंजूरी मिल गई थी. इसके बाद 23 अक्टूबर 2022 को इस मेमोरियल पार्क का पुनर्निर्माण पूरा हो गया और इसे आम जनता के लिए खोल दिया गया था. इस मौके पर देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी भी मौजूद थे. साल 2001 में Gimhae शहर के मेयर और अयोध्या के मेयर ने आपसी सहयोग और संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए एक 'अंतरराष्ट्रीय सिस्टर सिटी' बॉन्ड पर साइन किए थे.
राम मंदिर बनने की हो चुकी है शुरुआत
Miss Zena Chung ने कोरिया के ग्लोबल डिप्लोमैट फॉरम के डायरेक्टर के तौर पर कोरिया की सरकार से राम मंदिर के निर्माण को लेकर बात शुरू कर दी है. इस विषय में जारी की गई प्रेस रिलीज की मानें तो Miss Zena Chung ने इस विषय में विशेष तौर पर कोरिया के राष्ट्रपति को पत्र लिखा है. इतना ही नहीं, Miss Zena Chung ने कोरिया के विदेश मंत्री और Gimhae शहर के मेयर को भी कोरिया के Gimhae शहर में अयोध्या जैसा ही राम मंदिर बनाने के लिए पत्र लिखा है.
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अगर आपको सहूलियत भरे टाइम पर फ्लाइट पकड़नी है तो आपको देर रात और सुबह जल्दी वाली फ्लाइट के किराए से दोगुना किराया देना होगा.
अप्रैल के महीने में छुट्टियों की बड़ी लिस्ट की वजह से आने वाले दो हफ्तों के दौरान घरेलु हवाई यात्रा के किराए में जबरदस्त बढ़ोत्तरी देखने को मिल रही है. कोविड महामारी खत्म होने के बाद से भारत के घरेलु हवाई यात्रियों की संख्या में पहली बार इतनी ज्यादा वृद्धि देखने को मिल रही है. महामारी खत्म होने के बाद से अप्रैल 2022 के लम्बे वीकेंड के दौरान पहली बार भारत के घरेलु हवाई यात्रियों की संख्या 4 लाख प्रतिदिन के पार गयी थी. इस साल भी उम्मीद है कि आने वाले वीकेंड के दौरान एयरपोर्ट्स पर जबरदस्त भीड़ देखने को मिलेगी.
सबसे सस्ता किराया
बस इस बार अंतर यह है कि हवाई यात्रा का किराया पिछले साल अप्रैल के मुकाबले कहीं ज्यादा है, जिससे हवाई यात्रा की बढती मांग के बारे में पता चलता है. सबसे सस्ता किराया किसी भी मेट्रो शहर से दूसरे मेट्रो शहर तक की यात्रा का है. किसी प्रमुख शहर से एक मशहूर और आरामदायक जगह जाने के लिए सबसे सस्ता किराया उन फ्लाइट्स का है जिनकी उड़ान का समय या तो बहुत देर रात का है या फिर सुबह बहुत जल्दी का.
दोगुना है यहां का किराया!
अगर आपको सहूलियत भरे टाइम पर फ्लाइट पकड़नी है तो आपको देर रात और सुबह जल्दी वाली फ्लाइट के किराए से दोगुना किराया देना होगा. श्रीनगर, लेह, कोच्ची, देहरादून, मंगलौर और तिरुपति जैसी आरामदायक जगहों की हवाई यात्रा के लिए आपको सबसे ज्यादा किराया देना होगा. इस वक्त गोवा भी बहुत मांग में है. आपको बता दें, गोवा स्मॉल-हॉलिडे डेस्टिनेशन के रूप में काफी मशहूर है. मुंबई से गोवा जाने के लिए सबसे सस्ती रिटर्न फ्लाइट का किराया 10,000 रुपये है लेकिन यह फ्लाइट गोवा में रात में 11:30 बजे लैंड करेगी और मुंबई वापसी के लिए रात के 12:15 बजे गोवा से उड़ान भरेगी. मुम्बई से सुबह 11:25 पर उड़ान भरने और गोवा से मुंबई वापसी के लिए दोपहर 1:15 बजे उड़ान भरने वाली फ्लाइट का किराया 32,500 रुपये है.
इसलिए बढ़ा किराया
अगर किराये की तुलना मार्च के महीने से करें तो अप्रैल में लंबे-लंबे वीकेंड्स पर मुंबई, दिल्ली और बैंगलोर जैसे प्रमुख शहरों से चंडीगढ़, श्रीनगर, लेह, देहरादून, कोच्ची और गोवा जैसी मशहूर जगहों के रुट्स पर हवाई यात्रा के किराए में 20% से 60% तक की बढ़ोत्तरी देखने को मिली है. लोगों के बीच छुट्टी पर जाने की भूख बढ़ना और दुसरे शहरों में काम करने वाले लोगों का छुट्टी के लिए अपने घर वापस आना किराए में हुई इस बढ़ोत्तरी के पीछे के दो प्रमुख कारण हैं.
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भारतीय रेलवे ने यात्रियों को बेहतर एक्सपीरियंस देने और सफर आरामदायक बनाने के लिए बड़े बदलाव शुरू किये हैं. इस दिशा में पहला कदम लेते हुए रेलवे देश भर के 1275 स्टेशन्स का री-डेवलपमेंट करेगा.
यात्रियों को बेहतर एक्सपीरियंस देने के साथ यात्रा को ज्यादा आरामदायक बनाने और इंफ्रास्ट्रक्चर को बेहतर करने के लिए भारतीय रेलवे लगातार बड़े बदलाव कर रहा है. अपनी पोस्ट बजट अनाउंसमेंट में रेलवे मिनिस्टर अश्विनी वैष्णव ने मौजूदा इंफ्रास्ट्रक्चर को मॉडर्न बनाने पर जोर दिया है. इसी सन्दर्भ में रेलवे स्टेशन्स का री-डेवलपमेंट बहुत ही जरुरी है. रेलवे ने देश भर में कुल 1275 ऐसे रेलवे स्टेशन्स की पहचान की है जिन्हें अमृत भारत स्टेशन स्कीम के तहत री-डेवेलोप किया जाएगा.
स्टेशन अपग्रेडेशन का काम आमतौर पर कस्टमर एमेनिटीज प्लान हेड-53 के अंतर्गत किया जाता है. स्टेशन्स के डेवलपमेंट और मेंटेनेंस के लिए फंड्स को जोनल आधार पर बांटा जाता है. आइये जानते हैं कौनसे राज्य के किन स्टेशन्स का किया जाएगा मेकओवर:
आंध्र प्रदेश: आदोनी, अनकापल्ली, अनंतपुर, अराकू, अनापार्थी, बापटला, भीमावरम टाउन, बोबिली जंक्शन, चिपुरुपल्ली, चिरला, चित्तूर, कुड्डापाह, कम्बम, धर्मावरम, डोन, डोनाकोंडा, दुव्वाडा, एलामन्चिली, एलुरु, गिद्दलुर, गूटी, गुडिवाड, गुदुर, गुनाडला, गुंटूर, हिन्दुपुर, इच्च्पुरम, कादिरी, काकीनाडा टाउन, कोत्तवलसा, कप्पम, कुरनूल सिटी, माचर्ला, मचिलिपत्नम, मदनपल्ली रोड, मंगलागिरी, मार्कापुरम रोड, मन्त्रालयम रोड, नडिकुडी जंक्शन, नंद्याला, नरसरावपेट, नरसापुर, नौपद जंक्शन, नल्लुर समेत 28 अन्य स्टेशनों का री-डेवलपमेंट किया जाएगा.
अरुणाचल प्रदेश: ईटानगर में स्थित नाहरलागुन स्टेशन को री-डेवलप किया जाएगा.
असम: डिब्रूगढ़, डिफू, गौरीपुर, गोलाघाट, कोकराझार, कामख्या, उत्तरी लखीमपुर, न्यू टिनसुकिया, न्यू बोंगाई गांव, गोसाई गांव हाट, लमडिंग समेत 38 स्टेशन्स को री-डेवलप किया जाएगा.
बिहार: बख्तियारपुर, बंका, बापूधाम मोतिहारी, बरौनी, बेगुसराय, बेतिया, भागलपुर, बिहार शरीफ, बक्सर, चौसा, दरभंगा, जमुई, खगड़िया, जहानाबाद, गया, हाजीपुर, रक्सौल, समस्तीपुर, सहरसा समेत 67 स्टेशन्स का री-डेवलप किया जाएगा.
छत्तीसगढ़: अंबिकापुर, बैकुंठपुर रोड, भिलाई, भिलाई नगर, भिलाई पावर हाउस, बिलासपुर, दुर्ग, रायगढ़, रायपुर, सरोना, भानु प्रताप पुर समेत 21 स्टेशन्स का री-डेवलपमेंट किया जायेगा.
दिल्ली: आनंद विहार, दिल्ली, दिल्ली कैंट, दिल्ली शाहदरा, सराय रोहिल्ला, सब्जी मंडी, तिलक ब्रिज समेत 6 स्टेशन्स का री-डेवलपमेंट किया जाएगा.
गोवा: सांवर्डे और वास्को-डि-गामा स्टेशन्स को अपग्रेड किया जाएगा.
गुजरात: अहमदाबाद, भचाऊ, भरुच, भावनगर, बिलिमोर जंक्शन, द्वारका, गांधीधाम, गोधरा, हिम्मतनगर, पोरबंदर, वडोदरा, वापी, साबरमती, पालनपुर, जामनगर, राजकोट समेत 71 स्टेशन्स को मॉडर्न बनाया जाएगा.
हरियाणा: अम्बाला कैंट, बहादुरगढ़, भिवानी, फरीदाबाद, गुरुग्राम, हिसार, जींद, कुरुक्षेत्र, पलवल, रेवाड़ी, सोनीपत समेत 18 स्टेशन्स का री-डेवेलपमेंट किया जाएगा.
हिमाचल प्रदेश: अम्ब अन्दौरा, बैजनाथ पपरोला, पालमपुर रेलवे स्टेशन्स का री-डेवलपमेंट किया जाएगा.
झारखण्ड: बोकारो स्टील सिटी, डाल्टनगंज, देवघर, गढ़वा टाउन, हैदरनगर, हजारीबाग, कोडरमा, रामगढ कैंट, विद्यासागर समेत 47 स्टेशन्स को अपग्रेड किया जाएगा.
कर्नाटक: बैंगलोर, बेलागवी, बीजापुर, धारवाड़, मैसूर, रायचूर, शिवमोगा, यादगिर, यशवंतपुर समेत 46 स्टेशन्स को मॉडर्न बनाया जाएगा.
केरल: अर्नाकुलम, अर्नाकुलम टाउन, नीलम्बुर रोड, थ्रिसुर, थालास्सेरी, वर्कला, समेत 28 स्टेशन्स को री-डेवलप किया जाएगा.
मध्य प्रदेश: बेतुल, भिंड, भोपाल, छिंदवाड़ा, ग्वालियर, होशंगाबाद, इंदौर, इटारसी, जबलपुर, कटनी जंक्शन, लक्ष्मीबाई नगर, नीमछ, सतना, उज्जैन समेत 66 स्टेशन्स को ट्रांसफॉर्म किया जाएगा.
महाराष्ट्र: अहमदनगर, अजनी, अमरावती, अंधेरी, औरंगाबाद, छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस, दादर, लातूर, लोकमान्य तिलक, कोल्हापुर, मुंबई सेंट्रल, नागपुर, नासिक रोड समेत 123 स्टेशन्स को अपग्रेड किया जाएगा.
मणिपुर: इम्फाल रेलवे स्टेशन का री-डेवलपमेंट किया जाएगा
मेघालय: मेहेंदिपथर रेलवे स्टेशन को अपग्रेड किया जाएगा
मिजोरम: अइजोल स्थित सैरंग को री-डेवेलोप किया जाएगा
नागालैंड: दीमापुर रेलवे स्टेशन को अपग्रेड किया जाएगा
उड़ीसा: बलासोर, कटक, भुवनेश्वर, संबलपुर, बेलपहार, बर्बिल, ब्रह्मपुर, हीराकुंड, खुर्दा रोड, न्यू भुवनेश्वर समेत 47 स्टेशन्स को अपग्रेड किया जाएगा.
पंजाब: अमृतसर, आनंदपुर साहिब, भटिंडा, फजिल्का, जालंधर, लुधियाना, फगवाडा, नंगल डैम समेत 22 स्टेशन्स को अपग्रेड किया जाएगा
राजस्थान: अजमेर, अलवर, बाड़मेर, भिलवाडा, बीकानेर, चुरू, गांधीनगर जयपुर, जयपुर, जैसलमेर, झुंझुनू, जोधपुर, कोटा, उदयपुर समेत 69 रेलवे स्टेशन्स को री-डेवलप किया जाएगा.
सिक्किम: रंगपो स्टेशन को री-डेवलप किया जाएगा
तमिलनाडू: चेन्नई बीच, चेन्नई पार्क, उत्तरी कोयम्बटूर, कुन्नुर, मदुरै, लालगुडी, तंजावुर, वेल्लोर जंक्शन समेत 65 स्टेशनों को अपग्रेड किया जाएगा.
तेलंगाना: हैदराबाद, करीमनगर, मधिरा, महबूबाबाद, सिकंदराबाद, वारंगल, जहिराबाद, समेत 32 स्टेशन्स का री-डेवलपमेंट किया जाएगा.
त्रिपुरा: अगरतला, धरमनगर, कुमारघाट, और उदयपुर को अपग्रेड किया जाएगा
चंडीगढ़: चंडीगढ़ रेलवे स्टेशन को अपग्रेड किया जाएगा
जम्मू और कश्मीर: बडगांव, जम्मूतवी, श्री माता वैष्णो देवी कटरा, और उधमपुर स्टेशन्स को री-डेवलप किया जाएगा
पुडुचेरी: कारिकल, माहि, पुडुचेरी को अपग्रेड किया जाएगा
उत्तर प्रदेश: आगरा कैंट, आगरा फोर्ट, अयोध्या, आजमगढ़, बाराबंकी जंक्शन, बरेली, बरेली सिटी, गढ़मुख्तेश्वर, हाथरस, कानपुर, लखनऊ चारबाग, मथुरा, प्रयागराज जंक्शन समेत 136 स्टेशन्स को री-डेवलप किया जाएगा.
उत्तराखंड: देहरादून, हरिद्वार, काठगोदाम, कोटद्वार, रुड़की, समेत 6 स्टेशन्स को अपग्रेड किया जाएगा.
पश्चिम बंगाल: आसनसोल, बिष्णुपुर, डम-डम, हावड़ा, जलपाईगुड़ी, मालदा टाउन, कोलकाता, कटवा, दीघा समेत 75 स्टेशन्स को री-डेवलप किया जाएगा.
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आगरा में पहली बार गोवा फूड फेस्टिवल का आयोजन किया जा रहा है. डबलट्री बाय हिल्टन आगरा के होटल में इसका लुत्फ उठाया जा सकता है.
ताजनगरी आगरा (Agra) में रहने वाले गोवा के लजीज व्यंजनों का स्वाद उठा सकेंगे. डबलट्री बाय हिल्टन आगरा (DoubleTree by Hilton Agra) के प्रसिद्ध रेस्तरां नॉर्थ 27 में गोवा फूड फेस्टिवल (Goa Food Festival) शुरू हो गया है. यह फेस्टिवल पहली बार आगरा में हो रहा है. इस खास अवसर पर 'नॉर्थ 27' के प्रवेश द्वार को गोवा के रंगों में सजाया गया है. होटल का दावा है कि रेस्टोरेंट का माहौल बिल्कुल ऐसा अनुभव देगा, जैसे कि आप गोवा में हैं.
शेफ भी हैं गोवा के
डबलट्री बाय हिल्टन आगरा की तरफ से बताया गया है कि गोवा फूड फेस्टिवल, गोवा के जायके का उत्सव है और इसे हेड शेफ अमित राणे ने तैयार किया है, जो खुद गोवा से हैं. होटल के महाप्रबंधक श्याम कुमार ने कहा कि हम लगातार दुनिया भर के बेहतरीन व्यंजनों को आगरा लाते रहे हैं और इस बार गोवा फूड फेस्टिवल आयोजित कर रहे हैं. ताकि आगरावासी गोवा के लजीज व्यंजनों का लुत्फ उठा सकें.
5 फरवरी तक चलेगा
उन्होंने आगे बताया कि गोवा के व्यंजन कई संस्कृतियों से प्रभावित हैं, जो सदियों से इसके संपर्क में आए हैं और इसलिए भोजन का चयन बहुत खास तरह से किया गया है. ये व्यंजन पोर्तुगीज, अरब, ब्राजीलियन, अफ्रीकी, फ्रेंच, कोंकण, मालाबार आदि का मिश्रण हैं. गोवा फूड फेस्टिवल नॉर्थ 27 में 5 फरवरी तक चलेगा. होटल में हिल्टन ऑनर सदस्यों के लिए विशेष ऑफर भी हैं.
हालांकि नया परिवर्तन शेंगेन, यूके और यूएस वीजा, या इन देशों के निवास परमिट वाले भारतीयों को प्रभावित नहीं करेगा.
नई दिल्लीः नए साल में अगर आप यूरोपीय देशों की यात्रा करने का प्लान कर रहे हैं तो फिर आपको परेशानी का सामना करना पड़ सकता है. दक्षिण पूर्वी मध्य यूरोपीय देश सर्बिया ने भारतीयों के वीजा फ्री एंट्री पर रोक लगा दी है. यह नियम देश 1 जनवरी 2023 से लागू करेगा.
भारत के दूतावास, बेलग्रेड ने एक बयान में कहा कि यूरोपीय राष्ट्र में जाने वाले सभी भारतीय नागरिकों को "सर्बिया गणराज्य में प्रवेश करने के लिए वीजा की आवश्यकता होगी". बयान में कहा गया है, "सर्बिया में 30 दिनों तक रहने के लिए सभी भारतीय पासपोर्ट धारकों के लिए सर्बिया में वीजा-मुक्त प्रवेश की मौजूदा व्यवस्था को सर्बिया सरकार द्वारा वापस ले लिया गया है." 1 जनवरी या उसके बाद सर्बिया जाने के इच्छुक भारतीयों को नई दिल्ली में सर्बिया के दूतावास या अपने निवास के देश में वीजा के लिए आवेदन करना होगा.
इनको मिलेगी छूट
हालांकि नया परिवर्तन शेंगेन, यूके और यूएस वीजा, या इन देशों के निवास परमिट वाले भारतीयों को प्रभावित नहीं करेगा. इन देशों के वीजा या परमिट वाले भारतीय पासपोर्ट धारकों को अभी भी 1 जनवरी या उसके बाद 90 दिनों तक सर्बिया में वीजा मुक्त प्रवेश की अनुमति दी जाएगी. 20 नवंबर से, सर्बिया ने गिनी-बिसाऊ (पश्चिम अफ्रीका में), ट्यूनीशिया (उत्तरी अफ्रीका में) और बुरुंडी (पूर्वी अफ्रीका में) के नागरिकों के लिए वीजा-मुक्त प्रवेश सेवा भी समाप्त कर दी है.
बीते करीब सात आठ वर्षों से भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान आदि देशों से मानव तस्कर लोगों को यूरोप में घुसाने के लिए बाल्कन देशों का इस्तेमाल काफी करने लगे हैं. हालांकि मॉरीशस, थाईलैंड, इंडोनेशिया, मालदीव आदि देश अब भी भारतीयों के लिए वीजा मुक्त हॉलिडे डेस्टिनेशन बने हुए हैं.
VIDEO: क्या भारत में बढना चाहिए ट्रेडिंग टाइम
इस बार उम्मीद थी कि सरकार ऐतिहासिक शहर आगरा के विकास पर ध्यान देगी, लेकिन लगातार दूसरे साल निराशा हाथ लगी.
आगरा: यूपी सरकार ने पर्यटन नीति 2022 की घोषणा कर दी है, जिसमें आगरा को फिर से अनदेखा कर दिया गया. यह लगातार दूसरा साल है, जब यूपी सरकार ने अपनी नई पर्यटन नीति में आगरा और उसके स्मारकों को छोड़ दिया गया है. वहीं, पास के मथुरा जिले को 'कृष्णा सर्किट' के रूप में शामिल किया है.
'रामायण सर्किट' और 'कृष्णा सर्किट'
आपको बता दें कि 'रामायण सर्किट' की तर्ज पर 'कृष्णा सर्किट' को भी विकसित किया जाएगा. 'रामायण सर्किट' में अयोध्या, चित्रकूट, बिठूर और अन्य धार्मिक स्थल शामिल होंगे जिन्हें भगवान राम और देवी सीता के प्रतीक के रूप में देखा जाता है. वहीं, 'कृष्णा सर्किट' में मथुरा, वृन्दावन, गोकुल, गोवर्धन, बरसाना, नंदगांव, बलदेव आदि धार्मिक स्थलों को शामिल किया जाएगा. उत्तर प्रदेश की नई पर्यटन नीति में कपिलवस्तु, सारनाथ, कुशीनगर, कौशाम्बी, श्रावस्ती, रामग्राम आदि धार्मिक स्थलों को 'बौद्ध सर्किट' में शामिल किया जायेगा.
'महाभारत सर्किट' और 'शक्तिपीठ सर्किट'
नई पर्यटन नीति में 'महाभारत सर्किट' और 'शक्तिपीठ सर्किट' की भी परिकल्पना की गई है. 'महाभारत सर्किट' में हस्तिनापुर, कांपिल्य, एकछत्र, बरनावा, मथुरा, कौशाम्बी, गोंडा, लाक्षागृह जैसे स्थानों का चयन किया गया है. 'शक्तिपीठ सर्किट' के अंतर्गत विंध्यवासिनी देवी, अष्टभुजा से देवीपाटन, नैमिषारण्य, मां ललित देवी, मां ज्वाला देवी, शाकुंभरी देवी, चित्रकूट और शीतला माता देवी स्थल को शामिल किया जाएगा.
ईको पर्यटन को बढ़ावा देने पर भी हो ध्यान
UP की नई टूरिज्म पॉलिसी पर राय देते हुए एक सामाजिक कार्यकर्ता ने कहा कि पर्यटन नीति में नए वन्यजीव अभ्यारण्यों और वन अभ्यारण्यों के विकास के साथ ईको पर्यटन को बढ़ावा देने पर भी ध्यान देना चाहिए. वहीं, आगरा टूरिज्म वेलफेयर चैंबर के सचिव विशाल शर्मा ने उत्तर प्रदेश की नई पर्यटन नीति का स्वागत किया.
होटलों को 'उद्योग' का दर्जा दिया गया
उन्होंने कहा, "नई पर्यटन नीति में आधिकारिक रूप से होटलों को 'उद्योग' का दर्जा दिया गया है, जिसका अर्थ है कि पानी की दरें और बिजली, संपत्ति कर और सीवरेज कर भी व्यावसायिक के बजाय औद्योगिक होंगे. इससे होटल इंडस्ट्री को और मुनाफा होगा." हालांकि उन्होंने ये भी कहा, "चंबल के बीहड़ों को भी साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए आसानी से इस्तेमाल किया जा सकता है. कीठम और चंबल अभ्यारण्य को इको-टूरिज्म को बढ़ावा देने के लिए आदर्श स्थल के रूप में देखा जा सकता है."
आगरा में ऐतिहासिक स्थलों के अलावा भी बहुत कुछ
उन्होंने कहा, "आगरा में भगवान शिव को समर्पित 101 मंदिरों वाला ऐतिहासिक धार्मिक स्थल बटेश्वर भी है. आगरा टूरिज्म की दृष्टि से ऐतिहासिक स्थलों के अलावा भी बहुत कुछ प्रदान करता है और पर्यटन नीति को उन पर भी ध्यान देना चाहिए था."
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