भारत में अपने ऑपरेशंस को खत्म करने के लिए Wistron जल्द ही NCLT (नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल) और कंपनी रजिस्ट्रार के पास जा सकती है.
एप्पल (Apple) धीरे-धीरे भारत में अपनी पकड़ को मजबूत कर रहा है. हाल ही में एप्पल ने मुंबई में देश का पहला एप्पल स्टोर खोला था जिसके बाद देश की राजधानी दिल्ली में भी एक एप्पल स्टोर खुला था. लेकिन इस बीच एक ऐसी खबर सामने आ रही है जो एप्पल के भारतीय फैन्स को परेशान कर सकती है. दरअसल ताईवानी इलेक्ट्रॉनिक्स कंपनी Wistron 15 सालों तक भारत में बिजनेस करने के बाद अब भारत से पलायन करने के बारे में विचार कर रही है.
टाटा ने किया कब्जा
मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो अगले वर्ष तक भारत में अपने ऑपरेशंस को खत्म करने के लिए Wistron जल्द ही NCLT (नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल) और कंपनी रजिस्ट्रार के पास जा सकती है. पिछले महीने ऐसी रिपोर्ट्स सामने आयीं थीं जिनमें कहा गया था कि कर्नाटक में Wistron की Iphone बनाने वाली मैन्युफैक्चरिंग यूनिट को अब टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स (Tata Electronics) द्वारा अपने कब्जे में कर लिया गया है. Iphone बनाने वाली कंपनी Wistron की कर्नाटक स्थित मैन्युफैक्चरिंग यूनिट भारत में कंपनी के कुल बिजनेस का सबसे बड़ा हिस्सा है.
Wistron के अन्य प्लान्स
दक्षिण भारत में स्थित इस मैन्युफैक्चरिंग यूनिट के अलावा Wistron ‘इन्टरनेट ऑफ थिंग्स’ (Internet Of Things) को लेकर भी प्लानिंग कर रही थी. इतना ही नहीं Wistron देश में इलेक्ट्रिक वाहनों (EV) के क्षेत्र में भी अपने बिजनेस को बदहाने के बारे में सोच रही थी. इस वक्त कंपनी की कर्नाटक स्थित फैसेलिटी के कर्मचारियों की संख्या 12,000 है. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो Wistron द्वारा एप्पल के प्रोडक्ट्स की रिपेयरिंग और मेंटेनेंस इकलौता ऐसा बिजनेस है जो भारत में जारी रहेगा. एक बार टाटा इलेक्ट्रॉनिक्स के द्वारा टेकओवर पूरा कर लेने के बाद Wistron भारत से अपने बिजनेस का पलायन शुरू कर सकती है. भारत में पहली बार Wistron की सब्सिडियरी की शुरुआत साल 2008 में एक सेल्स और मेंटेनेंस के रूप में हुई थी जिसे ICT सर्विस मैनेजमेंट सोल्यूशंस इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के नाम से जाना जाता था.
यहां बनते हैं Iphone 12 और 14 मॉडल्स
Wistron की बैंगलोर स्थित फैसिलिटी 44 एकड़ में फैली हुई है और इस फैसिलिटी में 8 असेंबली लाइन्स मौजूद हैं और इस फैसिलिटी में Iphone 14 और Iphone 12 मॉडल्स को बनाया जाता है. भारत में Wistron के अलावा Iphone के अलावा दो अन्य ताईवानी मैन्युफैक्चरर्स भी हैं जिनका नाम Foxconn और Pegatron कोर्पोरेशन है. भारत में एप्पल Iphone की मैन्युफैक्चरिंग के प्रमुख हिस्से का मालिक Foxconn है.
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कम्युनिटीज को चलाने वाले लोगों ने Subreddits पर विरोध के बारे में पोस्ट्स डालकर बताया कि वह 12 से 14 जून तक Reddit का विरोध करेंगे.
Reddit एक अमेरिकी समाजिक न्यूज प्लेटफार्म है और इस प्लेटफॉर्म पर विभिन्न कम्युनिटीज मौजूद हैं जिन्हें “Subreddits” कहा जाता है. हाल ही में बहुत सी Subreddit कम्युनिटीज ने घोषणा की है कि वह 12 से 14 जून तक डार्क होने जा रही हैं. आइये जानते हैं आखिर ऐसा क्यों है?
किस बात का है विरोध?
तस्वीरों और फोटोग्राफी की एक कम्युनिटी है जिसका नाम r/pics है और इसके फॉलोअर्स की संख्या 30 मिलियन से अधिक है. r/pics ने अपने पेज पर पिन की गई एक पोस्ट में लिखा है कि “12 जून को Reddit द्वारा API में किए गए बदलावों का विरोध करते हुए r/pics डार्क होने जा रहा है. माना जा रहा है कि Reddit द्वारा API में किए गए इन बदलावों की बदौलत थर्ड पार्टी ऐप्स को काफी नुकसान हो सकता है. API में होने वाले नए बदलावों का विरोध करने वाली r/pics इकलौती Subreddit कम्युनिटी नहीं है. r/videos (26.7 मिलियन फॉलोअर्स), r/lifeprotips (22.1 मिलियन फॉलोअर्स), और r/earthporn (23.3 मिलियन फॉलोअर्स) जैसी कम्युनिटीज भी API के इन बदलावों का विरोध कर रही हैं.
आखिर क्या है पूरा मामला?
दरअसल दो महीनों पहले “Apollo” नाम के iOS पर मौजूद मशहूर Reddit क्लाइंट Christian Selig ने घोषणा करके बताया कि अपनी API सुविधा को इस्तेमाल करने के बदले में Reddit द्वारा क्लाइंट ऐप्स से शुल्क लिया जाएगा. अब सवाल उठता है कि API क्या होता है? API यानी एप्लीकेशन प्रोग्रामिंग इंटरफेस एक सोफ्टवेयर होता है जो दो अलग-अलग एप्स को आपस में जोड़ता है. इस मामले में यह एक सोफ्टवेयर है जो थर्ड पार्टी ऐप्स को Reddit के सर्वर के साथ इन्फॉर्मेशन और फाइल्स भेजने और प्राप्त करने की अनुमति देता है. यहां ध्यान देने वाली बात ये है कि API में होने वाले ये बदलाव थर्ड पार्टी ऐप्स को प्रभावित करेंगे हालांकि इन बदलावों से Reddit के ऐप पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा.
देने होंगे इतने पैसे
अपनी पोस्ट में Christian Selig ने विशेष रूप से कहा है कि इस नए API को इस्तेमाल करने का शुल्क अभी तय नहीं किया गया है लेकिन 2 हफ्तों से 1 महीने के बीच इसे तय कर लिया जाएगा. हाल ही में 1 जून को Christian ने खबर दी कि Apollo को काम करने के लिए Reddit को सालाना लगभग 20 मिलियन डॉलर्स का भुगतान करना होगा. अपनी नई पोस्ट में उन्होंने कहा कि 50 मिलियन रिक्वेस्ट के लिए 12,000 डॉलर्स का भुगतान करना होगा. साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि Apollo ने पिछले महीने यानी मई में 7 बिलियन रिक्वेस्ट की थी जिसके हिसाब से हर महीने Apollo को 1.7 मिलियन डॉलर्स या फिर सालाना तौर पर 20 मिलियन डॉलर्स का भुगतान करना होगा.
कुछ ऐसे होगा विरोध-प्रदर्शन
Apollo के डेवलपर द्वारा की गयी इस पोस्ट पर 1 लाख 60,000 से ज्यादा Upvotes किए जा चुके हैं. साथ ही Relay, Reddit Is Fun, Sync, Boost जैसे बहुत से अन्य नए Reddit क्लाइंट्स के डेवलपर्स ने भी ऐसी ही पोस्ट्स करके उनके द्वारा किए जाने वाले भुगतान की जानकारी दी है. इस खबर के सामने आने के बाद बहुत सी कम्युनिटीज को चलाने वाले लोगों ने अपने Subreddits पर विरोध प्रदर्शन के बारे में पोस्ट्स डालनी शुरू कर दी और बताया कि वह 12 से 14 जून तक Reddit द्वारा किए जा रहे इस बदलाव का विरोध करेंगे और इसका मतलब यह है कि लोग न तो किसी पुरानी पोस्ट्स के साथ इंटरैक्ट कर पाएंगे और न ही नई पोस्ट डाल पाएंगे.
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यदि आप फोन बदलने की सोच रहे हैं, तो OnePlus 10R को बेहद कम कीमत में अपना बना सकते हैं.
यदि आप OnePlus 10R खरीदना चाहते हैं, तो यह शानदार मौका है. क्योंकि ये दमदार स्मार्टफोन अब फ्लिपकार्ट (Flipkart) और अमेजन (Amazon) पर बहुत कम कीमत में उपलब्ध है. बैंक कार्ड इंसेंटिव और फ्लैट डिस्काउंट के साथ आप इस 5G फोन को 30,000 रुपए के आसपास अपना बना सकते हैं. OnePlus 10R को भले ही 2022 में रिलीज किया गया था, लेकिन ये अब भी खरीदने लायक फोन है.
Flipkart पर है ये ऑफर
वनप्लस 10R फ्लिपकार्ट पर 30,798 रुपए में उपलब्ध है. यह 128GB स्टोरेज वेरिएंट की कीमत है. इसके अलावा, यदि आप ICICI बैंक का क्रेडिट कार्ड इस्तेमाल करते हैं, तो 10% का अतिरिक्त डिस्काउंट प्राप्त कर सकते हैं. साथ ही कुछ अन्य डील भी हैं, जिनसे इस स्मार्टफोन की कीमत 30 हजार से कम हो जाएगी. बता दें कि OnePlus के इस 5G फोन को शुरुआत में भारत में 38,999 रुपए की कीमत में लॉन्च किया गया था. इस लिहाज से देखें तो आज आपको ये काफी सस्ता मिल रहा है.
Amazon पर इतनी है कीमत
वहीं, Amazon पर OnePlus का ये फोन 34,999 रुपए में उपलब्ध है, लेकिन इस पर 4,000 रुपए का डिस्काउंट भी है. इससे 10R की कीमत घटकर 30,999 रुपए हो जाती है. इसके लिए बस कूपन पर क्लिक करके आवेदन करें, और छूट की राशि भुगतान पृष्ठ पर दिखाई देगी. आईसीआईसीआई बैंक क्रेडिट कार्ड पर 2,000 रुपए की अतिरिक्त छूट भी है, जिससे स्मार्टफोन का प्राइज घटकर 28,999 रुपए हो जाता है.
10R का स्पेसिफिकेशन
वनप्लस 10R सामान्य उपयोग के लिए एक बेहतर 5G फोन है. इसमें 6.7 इंच का AMOLED डिस्प्ले है. फोन का 120Hz रिफ्रेश रेट सामान्य 60Hz डिस्प्ले की तुलना में एक स्मूथ स्क्रॉलिंग अनुभव प्रदान करता है. इस फोन के साथ आपको 80W फास्ट चार्जर मिलता है, जो 5,000mAh की बैटरी को तेजी से चार्ज करने में सक्षम है. इसमें Corning® Gorilla® ग्लास इस्तेमाल किया गया है. इसका मेन कैमरा 50MP और अल्ट्रा-वाइड कैमरा 8MP का है. जबकि फ्रंट कैमरा 16MP का दिया हुआ है.
इस हेडसेट की कीमत 2 लाख 88 हजार रूपए है, ऐसे में यह सवाल उठता है कि क्या औसत कंज्यूमर Apple हेडसेट को खरीद सकता है या नहीं?
हाल ही में Apple ने अपना नया Vision Pro AR/VR हेडसेट लॉन्च करने की जानकारी दी है और यह हेडसेट अगले साल तक मरकत में उपलब्ध हो जाएगा. फिलहाल ये हेडसेट चर्चा का विषय बना हुआ है जिसके दो प्रमुख कारण हैं. इनमें से एक कारण इसके एडवांस फीचर्स हैं तो वहीं दूसरा कारण इस हेडसेट की कीमत है.
Tim Cook ने क्या कहा?
Apple के इस लेटेस्ट हेडसेट की कीमत 2 लाख 88 हजार रुपए है. ऐसे में लोगों के बीच यह सवाल भी उठ रहा है कि क्या एक औसत कंज्यूमर Apple के इस AR/VR हेडसेट को खरीद सकता है या नहीं? यही सवाल जब Apple के CEO Tim Cook से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि Vision Pro हेडसेट वह सब कुछ कर सकता है जो एक Macbook या फिर Iphone कर सकता है. अपनी मौजूदा वित्तीय हालत को ध्यान में रखकर लोगों द्वारा विभिन्न फैसले लिए जा सकते हैं.
क्यों खास है Vision Pro?
Apple द्वारा इस डिवाइस को एक स्टैंडअलोन डिवाइस के रूप में प्रसारित किया जा रहा है और इस डिवाइस के लिए विशेष तौर पर अलग प्रोसेसर और सॉफ्टवेयर भी तैयार किए जा रहे हैं. Apple द्वारा Vision Pro की एडवांस्ड कंप्यूटिंग क्षमताओं के बारे में भी बढ़-चढ़कर बातें की जा रही हैं और यह भी कहा गया है कि इसे MacBook Air या फिर Iphone के स्थान पर भी इस्तेमाल किया जा सकेगा. लेकिन इसकी कीमत को लेकर अभी भी लोगों के बीच में कन्फ्यूजन बना हुआ है. Tim Cook ने यह भी कहा है कि Vision Pro को बनाने में सालों की मेहनत लगी है और इसे डेवेलोप करते हुए कंपनी ने लगभग 5000 पेटेंट्स भी फाइल किए हैं.
Apple ने किया स्मार्ट तरीके से काम
Vision Pro के आधिकारिक लॉन्च से पहले बहुत सी रिपोर्ट्स में यह कहा गया था कि मौजूदा ग्लोबल इकॉनोमिक हालातों को देखते हुए Apple के बहुत से कर्मचारी इस प्रोडक्ट के लॉन्च की टाइमिंग को लेकर निराश थे. अन्य बड़ी टेक कंपनियों कि बजाय Apple ने अभी तक अपने कर्मचारियों की छंटनी नहीं की है लेकिन कंपनी द्वारा अपने खर्चों को सीमित करने के लिए चुनिंदा विभागों की हायरिंग रोकने जैसे बहुत ही परंपरागत तरीके अपनाए गए हैं.
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यह फीचर इससे पहले सिर्फ अमेरिका में ही उपलब्ध था और अमेरिका के बाद भारत दुनिया का दूसरा देश है जहां ये खास फीचर पेश किया जाएगा.
LinkedIn एक प्रोफेशनल साईट है और जब भी बात कंपनियों के बारे में या फिर प्रोफेशनल्स के बारे में जानने के आती है तो LinkedIn का नाम सबसे ऊपर आता है. हाल ही में LinkedIn ने भारत में एक नया फीचर लॉन्च किया है और ये नया फीचर कंपनियों और लोगों के लिए बहुत काम का हो सकता है.
सिर्फ भारत और अमेरिका में मौजूद है ये फीचर
प्रोफेशनल नेटवर्किंग साईट LinkedIn ने भारत में लोगों की पहचान को वेरीफाई करने का फीचर लॉन्च कर दिया है. भारत में कंपनी का यह फीचर HyperVerge के माध्यम से काम करेगा. HyperVerge एक थर्ड-पार्टी कंपनी है जो DigiLocker के माध्यम से लोगों की जानकारी को वेरीफाई करता है. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि LinkedIn द्वारा भारत में लॉन्च किया गया पहचान वेरीफाई करने का यह फीचर इससे पहले सिर्फ अमेरिका में ही उपलब्ध था और अमेरिका के बाद भारत दुनिया का दूसरा देश है जहां सरकार द्वारा जारी किए गए पहचान पत्र के आधार पर वेरिफिकेशन किया जाएगा.
कौन इस्तेमाल कर पाएगा ये फीचर?
LinkedIn द्वारा प्रदान की जा रही यह वेरिफिकेशन सुविधा केवल उन्हीं लोगों के लिए उपलब्ध होगी जिनके पास मान्य आधार कार्ड नंबर के साथ-साथ भारतीय फोन नंबर है और प्रोफाइल की वेरिफिकेशन के बाद आप यूजर के LinkedIn प्रोफाइल पर जाकर यह देख सकते हैं कि प्रोफाइल वेरीफाईड है या फिर नहीं. LinkedIn के भारतीय क्षेत्र के मैनेजर, आशुतोष गुप्ता ने मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि दुनिया भर में अरबों लोग एक दूसरे से जुड़ने के लिए, नौकरियां ढूंढने के लिए, और ज्ञान साझा करने के लिए LinkedIn का इस्तेमाल कर रहे हैं और इसीलिए हम सुरक्षा, विश्वास और मान्यता के महत्त्व को समझते हैं. इसीलिए हमने भारत में पहचान वेरिफिकेशन के नए फीचर की शुरुआत की है और हमें उम्मीद है कि ये 100 मिलियन भारतीय मेंबर्स की मदद करेगा.
अन्य प्लेटफॉर्म्स से है अलग
LinkedIn का यह फीचर अन्य प्लेटफॉर्म्स से किस तरह अलग है यह बताते हुए आशुतोष ने कहा कि वेरिफिकेशन को लेकर हमारा लक्ष्य चुनिंदा प्रोफाइल्स को एक विशेष स्थान प्रदान करना नहीं बल्कि LinkedIn का इस्तेमाल करते हुए हमारे सभी मेंबर्स को सुरक्षित और विश्वास से भरपूर महसूस करवाना है. LinkedIn पर जब आप दिखा देते हैं कि आपकी प्रोफाइल सच में आपकी ही है तो आपके पास प्रोफेशनल मौकों को प्राप्त करने के लिए बेहतर अवसर भी उपलब्ध होंगे. इसीलिए हम चाहते हैं कि हमारे मेंबर्स अपनी पहचान को मान्य बना पाएं और बेहतर मौकों को प्राप्त कर सकें.
अमेरिका में भी हाल ही में लॉन्च हुआ फीचर
LinkedIn ने हाल ही में अमेरिका में भी एक थर्ड पार्टी कंपनी Clear के साथ मिलकर पहचान वेरीफाई करने के फीचर को लॉन्च किया था. अमेरिका में यह फीचर केवल उन लोगों के लिए ही उपलब्ध करवाया गया था जिनके पास अमेरिकी सरकार द्वारा जारी किया गया एक मान्य पहचान पत्र और अमेरिकी फोन नंबर मौजूद था. आशुतोष गुप्ता ने कहा, हालांकि अभी भी हम इस फीचर के शुरूआती फेज में ही हैं लेकिन हमें अपने मेंबर्स से बहुत ही पॉजिटिव रिस्पांस मिल रहा है.
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PM मोदी की महत्वकांक्षी योजना मेक इन इंडिया की सफलता का ग्राफ और चढ़ गया है. Apple के बाद अब एक ब्रिटिश कंपनी ने भारत में अपने स्मार्टफोन तैयार करने का फैसला लिया है.
iPhone बनाने वाली कंपनी Apple के बाद अब एक दिग्गज ब्रिटिश कंपनी भारत में अपने स्मार्टफोन तैयार करने जा रही है. इसे मेक इन इंडिया (Make in India) की सफलता के तौर पर देखा जा रहा है. जाहिर है, जब ब्रिटिश कंपनी नथिंग (Nothing) भारत में अपने फोन तैयार करेगी, तो इससे हमारे यहां नए रोजगार भी उत्पन्न होंगे. बता दें कि Apple भारत में बड़े पैमाने पर iPhone बना रही है. हाल ही में कंपनी ने भारत में अपने दो आधिकारिक स्टोर खोले हैं. इसके साथ ही कंपनी की योजना देश में अभी कुछ और स्टोर्स खोलने की भी है.
प्लास्टिक फ्री होगी अनबॉक्सिंग
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, ब्रिटिश कंज्यूमर टेक्नोलॉजी ब्रैंड नथिंग (Nothing) ने अपने अपकमिंग स्मार्टफोन Nothing Phone (2) को भारत में बनाने की घोषणा की है. इस फोन की सबसे बड़ी खासियत ये है कि इसे तैयार करने में पर्यावरण का काफी ध्यान रखा जाएगा. Phone (1) की तुलना में इसमें 3 गुना ज्यादा रिसाइकल्ड यानी कि बायो-बेस्ड पार्ट्स होंगे. इसकी अनबॉक्सिंग पूरी तरह प्लास्टिक मुक्त होगी और इसके फाइनल एसेंबली प्लांट पूरी तरह रिन्यूएबल एनर्जी पर चलेंगे. इतना ही नहीं फोन का फ्रेम 100% रिसाइकल्ड एल्यूमीनियम से बना होगा.
2020 में हुई थी स्थापना
Nothing Phone (2) की खासियत के बारे में जानने से पहले इसे बनाने वाली कंपनी के बारे में जानते हैं. Nothing की स्थापना 2020 में लंदन में हुई थी और यह ब्रिटेन की दिग्गज कंज्यूमर टेक्नोलॉजी कंपनियों में शामिल है. कंपनी पिछले कुछ समय से भारत में अपनी मौजूदगी बढ़ाने पर फोकस कर रही है. Nothing ने भारत में चार कंज्यूमर टेक प्रोडक्ट्स लॉन्च किए हैं. देश में इसके अथॉराइज्ड सर्विस सेंटर्स की संख्या 230 से ज्यादा है. एक रिपोर्ट बताती है कि कंपनी के Phone (1) को टाइम मैगजीन ने 2022 के बेस्ट इनोवेशंस में शामिल किया था. कंपनी अपने दो ऑडियो प्रोडक्ट्स Ear (1) और Ear (Stick) की दुनियाभर में 1,000,000 से अधिक यूनिट्स बेच चुकी है.
क्या है Phone (2) में खास?
कंपनी का दावा है कि Phone (2) दुनिया का सबसे ज्यादा सस्टेनेबल स्मार्टफोन है. नया फोन पिछले फोन के मुकाबले कम से कम 5 किलो कम कार्बन फुटप्रिंट देगा. जबकि इसकी बैटरी की क्षमता पिछले फोन से 200 MAH ज्यादा है. नए फोन में पुराने वाले की तुलना में 3 गुना ज्यादा रिसाइकल्ड पार्ट्स हैं. इसकी पैकेजिंग पूरी तरह प्लास्टिक फ्री होगी. कंपनी की तरफ से जारी एक बयान में कहा गया है कि Nothing स्मार्टफोन अपने आइकॉनिक ट्रांसपेरेंट डिजाइन के लिए जाने जाते हैं. जिसके लिए हाई-टेक मैन्यूफैक्चरिंग प्रोसेसेज और प्रीसिशन इंजीनियरिंग की जरूरत होती है. भारत के पास इसकी क्षमता है, इसलिए भारत में स्मार्टफोन बनाने का फैसला लिया गया है.
Apple ने भारत में अप्रैल में दो स्टोर्स खोले थे. कंपनी का पहला ऑफिशियल स्टोर मुंबई में खुला था और दूसरा स्टोर दिल्ली में ओपन हुआ था.
iPhone बनाने वाली कंपनी Apple के भारत में दो ऑफिशियल स्टोर्स हैं. Apple ने 18 अप्रैल को मुंबई में पहला स्टोर खोला था और इसके बाद 20 अप्रैल को दिल्ली में दूसरा. मुंबई के Jio World Drive मॉल में खुले इस स्टोर का नाम Apple BKC है. वहीं, दिल्ली के Citywalk मॉल में खुले दूसरे स्टोर का नाम Apple Saket है. इन दोनों स्टोर्स की ओपनिंग के लिए कंपनी के सीईओ टिम कुक खासतौर पर भारत आए थे. Apple के इन स्टोर्स को अब तक काफी अच्छा रिस्पांस मिला है. इनकी एक महीने की बिक्री ही करोड़ों में पहुंच गई है.
लगभग दो गुना ज्यादा
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दिल्ली और मुंबई के प्रत्येक Apple स्टोर ने एक महीने में 22 से 25 करोड़ रुपए से अधिक की बिक्री की है. इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स का कहना है कि यह आंकड़ा देश में नॉन-फेस्टिवल पीरियड के दौरान किसी इलेक्ट्रॉनिक्स स्टोर की बिक्री का लगभग दोगुना है. रिवेन्यु के मामले में Apple Store देश का सबसे बड़ा इलेक्ट्रॉनिक्स रिटेलर बन कर उभर रहा है. बता दें कि इन दोनों स्टोर्स से पहले तक Apple का भारत में कोई ऑफिशियल स्टोर नहीं था, कंपनी अपने पार्टनर्स के माध्यम से बिक्री करती थी.
दिल्ली से बड़ा मुंबई स्टोर
मुंबई के Apple BKC ने पहले दिन ही 10 करोड़ रुपए से अधिक की सेल कर ली थी, जो कि कुछ सबसे बड़े स्थानीय इलेक्ट्रॉनिक्स स्टोरों की तुलना में लगभग 2-3 करोड़ रुपए अधिक है. मुंबई का एप्पल स्टोर दिल्ली के मुकाबले बड़ा है और यहां कर्मचारियों की संख्या भी ज्यादा है. लेकिन दोनों स्टोर्स का महीने का रिवेन्यु लगभग समान ही रहा है. वहीं किराए की बात करें तो Apple BKC का मासिक किराया 42 लाख रुपए है. जबकि दिल्ली के साकेत स्टोर का किराया 40 लाख रुपए है.
बन सकता है नया रिकॉर्ड
एक्सपर्ट्स का कहना है कि Apple के दोनों स्टोर्स बिक्री का नया रिकॉर्ड बना सकते हैं, क्योंकि Apple उत्पादों का औसत बिक्री मूल्य (ASP) काफी अधिक है. एक रिपोर्ट के अनुसार, कैलेंडर वर्ष 2022 में भारत में आईफोन का ASP ऑफलाइन चैनलों के माध्यम से 935-990 डॉलर और ऑनलाइन बिक्री के माध्यम से 890 डॉलर था. Apple के दोनों स्टोर्स की ओपनिंग पर ही 6000 से ज्यादा लोगों ने स्टोर विजिट किया था. इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि लोगों में Apple को लेकर कितनी दीवानगी है.
स्मार्टफोन कंपनी शाओमी ने अपने ऑडियो प्रोडक्ट्स के लिए नोएडा स्थित एक निर्माता कंपनी के साथ समझौता किया है.
भारत सरकार द्वारा चीनी कंपनियों पर अपने ऑपरेशंस को ज्यादा से ज्यादा क्षेत्रीय करने के लिए सख्त रूप से दबाव बनाया जा रहा है. शाओमी (Xiaomi) भारत में मौजूद सबसे बड़ी मोबाइल फोन कंपनियों में से एक है और यह एक चीनी इलेक्ट्रॉनिक कंपनी है. शाओमी को लेकर एक बहुत ही जरूरी खबर सामने आ रही है.
मेक इन इंडिया में रखा कदम
मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो स्मार्टफोन कंपनी शाओमी ने अपने ऑडियो प्रोडक्ट्स के लिए नोएडा स्थित निर्माता कंपनी Optiemus Electronics के साथ समझौता कर लिया है. माना जा रहा है कि शाओमी अपने सभी ऑडियो प्रोडक्ट्स को पूरी तरह Optiemus Electronics से ही खरीदेगी. शाओमी इंडिया के प्रेजिडेंट Muralikrishnan B ने इस मौके पर मीडिया से बातचीत के दौरान कहा कि Optiemus Electronics के साथ इस पार्टनरशिप से शाओमी ने ‘Make In India’ में कदम रख लिया है जो कि एक बिलकुल नया सेगमेंट होगा.
बहुत ही जरूरी है यह कदम
बातचीत के दौरान शाओमी इंडिया के प्रेजिडेंट ने यह भी बताया कि कंपनी द्वारा इन्वेस्टमेंट और वृद्धि के नजरिये से यह सेगमेंट बहुत ही महत्त्वपूर्ण है और भारतीय कंपनी के साथ इस पार्टनरशिप के माध्यम से हमें अपने लक्ष्यों को पूरा करने में भी मदद मिलेगी. हमारे लिए ऑडियो प्रोडक्ट्स से संबंधित यह पार्टनरशिप, Optiemus के साथ बहुत सी पहलों में से एक है. हम अपने इस वादे को निभाने के लिए पूरी तरह से तत्पर हैं. हमारे लिए यह मौका उतना ही बड़ा है जितना बड़ा एक समय पर स्मार्टफोन्स का क्षेत्र हुआ करता था.
भारतीय ऑडियो मार्केट में किसका बोलबाला?
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि भारतीय ऑडियो कैटेगरी में Boat और Noise जैसे क्षेत्रीय ब्रैंड्स का बोलबाला है और इसके अलावा Samsung, Sony और Apple जैसे ब्रैंड्स की भी पर्याप्त मौजूदगी है. शाओमी का मानना है कि हैडफोन, TWS (ट्रूली वायरलेस सेट) और अन्य ऑडियो प्रोडक्ट्स की मांग में मजबूती बनी रहेगी. Optiemus Electronics के डायरेक्टर नितेश गुप्ता ने कहा कि शाओमी के साथ पार्टनरशिप के माध्यम से कंपनी ग्लोबल प्रोडक्ट्स की क्वालिटी के मानकों को प्राप्त कर पाएगी.
समय के साथ मजबूत होगी पार्टनरशिप
इसके साथ ही नितेश गुप्ता ने यह भी कहा कि यह सिर्फ एक सोर्सिंग पार्टनरशिप नहीं है बल्कि यह पार्टनरशिप समय के साथ-साथ मजबूत होती जाएगी. फोन निर्माता कंपनी Apple की तरह शाओमी अपने प्रोडक्ट्स खुद नहीं बनाती बल्कि अपने प्रोडक्ट्स के डिजाइन तैयार करके उन्हें किसी बाहरी कंपनी से बनवाती है, इनमें स्मार्ट टीवी और स्मार्टफोन जैसे प्रोडक्ट्स भी शामिल हैं. शाओमी के प्रेजिडेंट Muralikrishnan ने यह भी बताया कि फिलहाल कंपनी के प्रोडक्ट्स में घरेलु रूप से 20% की वैल्यू जोड़ी जाती है लेकिन आने वाले दो सालों में यह बढ़कर 30% हो जाएगी.
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ट्रैकिंग सिस्टम को अब देशभर में लागू किया जा रहा है. इसकी मदद से लोग अपने खोए हुए मोबाइल फोन को ब्लॉक और ट्रैक कर सकेंगे.
फोन खोने या चोरी होने पर सबसे बड़ी चिंता होती है, उसमें मौजूद डेटा की. पुलिस स्टेशन में शिकायत से लेकर तमाम जतन के बाद भी इसकी कोई गारंटी नहीं होती कि फोन मिल ही जाएगा या उसके डेटा का दुरुपयोग नहीं होगा. लेकिन जल्द ही आप इस चिंता से मुक्त हो जाएंगे. क्योंकि सरकार इस हफ्ते एक ट्रैकिंग सिस्टम शुरू करने जा रही है. जिसकी मदद से लोग अपने गायब या चोरी हो चुके मोबाइल फोन को ब्लॉक कर सकेंगे या उसका पता लगा सकेंगे.
सफल रहा है ट्रायल
सेंटर फॉर डिवेलपमेंट ऑफ टेलीमेटिक्स (CDoT) द्वारा सेंट्रल इक्विपमेंट आइडेंटिटी रजिस्टर (CEIR) सिस्टम को प्रायोगिक आधार पर चला रहा है. 17 मई को इसे पूरे देश में लॉन्च किया जाएगा. इस साल मार्च में दिल्ली, महाराष्ट्र और कर्नाटक सहित पांच राज्यों में इसका ट्रायल शुरू किया गया था. ट्रायल में मिली सफलता को ध्यान में रखते हुए अब इसे पूरे देश में लागू किया जा रहा है. इसकी मदद से चोरी या गायब हुए फोन को खोजना या उसे ब्लॉक करना आसान हो जाएगा.
नई खूबियां जोड़ी गईं
CDoT के सीईओ राजकुमार उपाध्याय ने बताया कि सिस्टम तैयार है और अब इसे देशभर में लागू किया जा रहा है. इसकी मदद से लोग अपने खोए हुए मोबाइल फोन को ब्लॉक और ट्रैक कर सकेंगे. क्लोन्ड मोबाइल फोन के इस्तेमाल का पता लगाने के लिए इसमें नई खूबियां भी जोड़ी गई हैं. जल्द ही स्मार्टफोन यूजर CEIR वेबसाइट या KYM (नो योर मोबाइल) ऐप के माध्यम से अपना खोया हुआ फोन ब्लॉक कर पाएंगे. लॉन्च के बाद शुरुआत में ये सुविधा केवल कुछ राज्यों में ही होगी, उसके बाद धीरे-धीरे इसका विस्तार किया जाएगा.
कामयाबी के आंकड़े
सरकार ने देश में मोबाइल की बिक्री से पहले 15 डिजिट के IMEI का खुलासा करना जरूरी कर दिया है. लिहाजा, मोबाइल नेटवर्क के पास मंजूर IMEI नंबरों की लिस्ट होगी. इससे उनके नेटवर्क में अनधिकृत मोबाइल फोन की एंट्री का भी पता चल सकेगा. टेलीकॉम ऑपरेटर्स और CEIR सिस्टम के पास डिवाइस के IMEI नंबर और उससे जुड़े मोबाइल नंबर की जानकारी होगी. एक रिपोर्ट में बताया गया है कि महाराष्ट्र के ठाणे में पुलिस ने CEIR की मदद से 1.28 करोड़ के 711 फोन बरामद किए हैं. ये फोन खो गए थे या चोरी हो गए थे. वहीं, अब तक इस सिस्टम के जरिए 4,77,996 फोन ब्लॉक किए गए हैं और 2,42,920 फोन ट्रैक किए जा चुके हैं.
Elon Musk ने एक ट्वीट कर बताया है कि वो ट्विटर के सीईओ के पद से इस्तीफा दे रहे हैं और उन्होंने कंपनी का नया सीईओ भी चुन लिया है.
सोशल मीडिया की चिड़िया यानी Twitter को नया सीईओ मिलने वाला है. Elon Musk ट्विटर का सीईओ पद छोड़ रहे हैं. उन्होंने ट्वीट करके खुद इसकी जानकारी दी है. Musk ने बताया है कि उन्होंने कंपनी के लिए नए सीईओ की खोज पूरी कर ली है. हालांकि, उन्होंने इसका खुलासा नहीं किया कि CEO किसे बनाया जाएगा, लेकिन इतना जरूर साफ कर दिया है कि Twitter की कमान अब किसी महिला के हाथ होगी.
ये नाम आया सामने
Elon Musk ने अपने Tweet में लिखा है, 'मुझे यह घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि मैंने ट्विटर के नए सीईओ का चयन कर लिया है. वह 6 सप्ताह में अपनी जिम्मेदारी संभालेंगी. अब मेरी भूमिका ट्विटर के कार्यकारी अध्यक्ष और सीटीओ के रूप में परिवर्तित होगी'. वैसे Musk ने नई सीईओ के नाम से पर्दा नहीं उठाया है, लेकिन वॉल स्ट्रीट जर्नल का कहना है कि Comcast NBCUniversal की कार्यकारी लिंडा याकारिनो को यह जिम्मेदारी सौंपी जाएगी. उनकी Musk के साथ कुछ दिनों से बातचीत चल रही थी.
पहले ही किया था ऐलान
Musk ने ट्विटर को पिछले साल अक्टूबर में 44 अरब डॉलर में खरीदा था. तब उन्होंने कहा था कि जैसे ही कोई नया शख्स मिल जाता है, वह सीईओ का पद छोड़ देंगे. अब उन्होंने यह फैसला ले लिया है. मीडिया रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि इस पद के लिए याकारिनो Musk की पहली पसंद हैं. एनबीसीयूनिवर्सल में शीर्ष विज्ञापन बिक्री कार्यकारी याकारिनो ने पिछले महीने मियामी में एक विज्ञापन सम्मेलन में Musk का इंटरव्यू लिया था. वहीं, माना जा रहा है कि याकारिनो का NBCUniversal को छोड़ना कंपनी के लिए बड़ा झटका होगा.
होती रही है आलोचना
Elon Musk के ट्विटर की कमान संभालने के बाद से कंपनी को काफी आर्थिक नुकसान उठाना पड़ा है. Musk के पुराने बयान और नीतियों से नाराज कई कंपनियों ने इस टेकओवर के बाद स्पष्ट किया था कि वो Twitter पर अब विज्ञापन नहीं देंगी. बड़े पैमाने पर ट्विटर कर्मचारियों की छंटनी और मौजूदा कर्मचारियों की सुविधाओं में कटौती को लेकर भी Musk की आलोचना होती रही है. अब देखने वाली बात ये होगी कि नए CEO के नेतृत्व में कंपनी कैसे काम करती है.
पिछले कुछ महीनों से भारतीय मोबाइल यूजर्स को विदेशों से व्हाट्सऐप पर काफी गुमनाम कॉल आ रहे हैं. इन कॉल्स के जरिए वित्तीय धोखाधड़ी के मामलों में भी तेजी आई है.
अनचाही या अनवॉन्टेड कॉल से हर कोई परेशान हैं. तमाम प्रयासों के बावजूद इन कॉल्स पर पूरी तरह लगाम नहीं लग पाई है. इस तरह की कॉल प्रमोशन या धोखाधड़ी के उद्देश्य से की जाती हैं. आजकल व्हाट्सऐप (Whatsapp) पर भी इस तरह की कॉल काफी ज्यादा आने लगी हैं. व्हाट्सऐप पर विदेशों से अनचाही, गुमनाम कॉल के मामलों में तेजी आई है, जिसे देखते हुए गृह मंत्रालय (Home Ministry) ने अलर्ट जारी किया है.
रिसीव न करें कॉल
गृह मंत्रालय के अधीन काम करना वाले इंडियन साइबर क्राइम कोआर्डिनेशन सेंटर ने व्हाट्सऐप (Whatsapp) पर विदेशों से आने वालीं अनचाही, गुमनाम कॉल को लेकर महत्वपूर्ण अलर्ट जारी किया है. संस्था ने लोगों को अलर्ट करते हुए कहा कि इस प्रकार की किसी भी कॉल को रिसीव न करें. इनसे धोखाधड़ी की घटनाएं सामने आईं हैं. जालसाज इस तरह की कॉल करके फाइनेंशियल फ्रॉड को अंजाम दे रहे हैं.
तुरंत करें रिपोर्ट
इस अलर्ट में यह भी कहा गया है यदि आपको किसी अनजान विदेशी नंबर से कॉल आता है, तो उसे कभी भी रिसीव न करें. नंबर को तुरंत ब्लॉक करें और उसके बारे में तुरंत स्थानीय साइबर क्राइम यूनिट को सूचित करें. संस्था की तरफ से कहा गया है कि जालसाज कई तरह से लोगों को फंसाते हैं. कॉल के साथ-साथ वह प्रलोभन वाले मैसेज भी भेजते हैं. इसलिए हमेशा अलर्ट रहें और अनचाही, गुमनाम कॉल की सूचना तुरंत साइबर क्राइम यूनिट को दें.
बढ़ रहे हैं मामले
पिछले कुछ महीनों से भारतीय मोबाइल यूजर्स को विदेशों से व्हाट्सऐप पर काफी गुमनाम कॉल आ रहे हैं. इन कॉल्स के जरिए वित्तीय धोखाधड़ी के मामलों में भी तेजी आई है. इसी को ध्यान में रखते हुए गृह मंत्रालय ने यह महत्वपूर्ण एडवाइजरी जारी की है. बता दें कि देश में हर साल बड़े पैमाने पर लोग साइबर फ्रॉड का शिकार होते हैं. साइबर अपराधी धोखाधड़ी को अंजाम देने के लिए हर रोज नए-नए तरीके अपनाते रहते हैं