आज ये शेयर साबित हो सकते हैं गेम चेंजर, दांव लगाकर आजमाएं किस्मत 

शेयर बाजार में तेजी का माहौल चल रहा है. आज भी कुछ शेयरों में तेजी के संकेत नजर आ रहे हैं.

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Thursday, 08 June, 2023
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वैश्विक बाजारों के मिले-जुले संकेत और विदेशी पूंजी का प्रवाह बढ़ने के चलते भारतीय शेयर बाजार (Stock Market) बुधवार को तेजी के साथ बंद हुए. इस दौरान, 30 शेयरों वाला BSE सेंसेक्स 350.08 अंक चढ़कर 63,142.96 और NSE निफ्टी 127.40 अंक की बढ़त के साथ 18,726.40 के लेवल पर पहुंच गया. कारोबार के दौरान एक समय सेंसेक्स की तेजी 400 पॉइंट्स के पार निकल गई थी. आज भी बाजार से मिलीजुली प्रतिक्रिया मिलने की उम्मीद है. 

इनमें दिख रही मजबूती
सबसे पहले उन शेयरों के बारे में बात करते हैं, जिनमें मजबूत खरीदारी दिख रही है. इस सूची में Torrent Power, Suzlon Energy, JBM Auto, Greenlam Industries और Max Healthcare शामिल है. Suzlon Energy का शेयर रॉकेट बना हुआ है. बुधवार को 17.62% की तेजी के साथ 14.35 रुपए पर बंद हुआ था. पिछले 5 दिनों में इसने दिग्गज शेयरों को पीछे छोड़ते हुए 23.71% का रिटर्न दिया है और एक महीने में यह आंकड़ा 67.84% पहुंच गया है. Max Healthcare ने भी कल 7 फीसदी से ज्यादा की छलांग लगाई. 561 रुपए के भाव पर मिल रहा ये शेयर पिछले 5 दिनों में 3.99% चढ़ा है. इसी तरह, Torrent Power के लिए भी कल का दिन अच्छा रहा. इस दौरान, कंपनी के शेयरों में 15.91% की वृद्धि दर्ज की गई. 709.60 रुपए कीमत वाला ये शेयर अपने 52 वीक के हाई लेवल 725.40 रुपए की तरफ तेजी से बढ़ रहा है.

ये हैं MACD के संकेत 
वहीं, मोमेंटम इंडिकेटर मूविंग एवरेज कन्वर्जेंस डिवर्जेंस (MACD) के संकेतों की बात करें, तो आज Adani Power, HPCL, Idea, Shree Renuka Sugar और IFCI में तेजी का रुख नजर आ सकता है. मतलब इन शेयरों में मुनाफा कमाने की गुंजाइश है. हालांकि, BW हिंदी सलाह देता है कि इन्वेस्टमेंट का फैसला पर्याप्त शोध और किसी एक्सपर्ट के परामर्श से बाद ही लें. MACD ने आज गिरावट के संकेत वाले शेयरों के बारे में भी बताया है. उसके अनुसार, अडानी ग्रुप की फ्लैगशिप कंपनी Adani Enterprises के साथ-साथ Motherson Sumi Wiring, M&M Financial, Tech Mahindra और Mphasis के शेयरों में मंदी का रुख रह सकता है. तेजी के संकेत वाले शेयरों में से अडानी पावर की बात करें, तो यह इसमें कल 4.52% की मजबूती रिकॉर्ड की गई थी. 274.90 रुपए मूल्य के इस शेयर का 52 वीक का हाई लेवल 432.50 रुपए है.

 


जब Scammers ने सुनील भारती मित्तल की आवाज की नकल करके उनके कार्यकारी को ठगा

AI के गलत इस्तेमाल से जब खुद भारती एयरटेल के चेयरमैन सुनील भारती मित्तल रूबरू हुए तो ये जानकर वो सन्न रह गए कि उनके नाम और आवाज की क्लोनिंग करके किस तरह की कोशिश की जा रही थी.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
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Tuesday, 22 October, 2024
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आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस और फाइनेंशियल स्कैम की खबरें आजकल खूब सुनने को मिल रही हैं. इसकी चपेट में आम लोग ही नहीं सिलेब्रिटीज और बड़े बिजनेसमैन को भी लेने की कोशिशें की जा रही हैं. भारती एयरटेल के चेयरमैन सुनील भारती मित्तल के सामने भी जब ऐसी स्थिति आई तो वो ये जानकर सन्न रह गए कि उनके नाम पर कितनी चालाकी से पैसे ऐंठने की कोशिश हुई थी और उनकी आवाज को कैसे पूरी तरह कॉपी कर लिया गया था.

सुनील भारती मित्तल की आवाज की क्लोनिंग की

सुनील मित्तल ने ये वाकया शेयर किया जिसमें उनकी आवाज हूबहू कॉपी कर ली गई यानी क्लोन कर ली गई. दरअसल उनकी कंपनी के एक अधिकारी को दुबई में एक कॉल आया और इस कॉल में उनके नाम पर किसी अकाउंट में पैसा ट्रांसफर करने की बात की गई. उक्त अधिकारी को कॉल पर सुनील मित्तल की आवाज को सुनकर हैरानी हुई क्योंकि वो (सुनील मित्तल) इस तरह का निर्देश कभी अपने अधिकारियों को नहीं दे सकते, लिहाजा उन्होंने रकम ट्रांसफर नहीं की और इस स्कैम से बच गए.

एडवांस्ड आर्टिफिशयल इंटेलीजेंस को यूज कर पैसे ऐंठने की कोशिश

सुनील भारती मित्तल ने कहा कि उनकी आवाज को क्लोन करने के लिए बेहद एडवांस्ड आर्टिफिशयल इंटेलीजेंस का इस्तेमाल किया गया और स्कैमर ने सुनील मित्तल की आवाज का इस्तेमाल करके बड़ी रकम ऐंठने की कोशिश की. ये अच्छा रहा कि एयरटेल के अधिकारी ने इसे पहचान लिया कि ये कॉल फेक है और उन्होंने रकम ट्रांसफर नहीं की. सुनील मित्तल ने ये भी कहा कि वो उस रिकॉर्डिंग को सुनकर हैरान रह गए क्योंकि एआई के ऐसे गलत इस्तेमाल की खबरें सुनी थीं लेकिन इस बार उनको ही निशाना बनाने की कोशिश हुई.

AI का गलत इस्तेमाल बन सकता है खतरा- सुनील मित्तल

भारती एयरटेल के चेयरमैन की आवाज का इस्तेमाल करके जिस स्कैम को करने की कोशिश की गई, उससे सुनील भारती मित्तल सन्न रह गए और उन्होनें ये माना कि अगर एआई का गलत इस्तेमाल किया जाता रहा तो ये बहुत खतरनाक हो सकता है. इसमें जब देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनियों के मालिक को शिकार बनाने की कोशिश की जा सकती है तो फिर आम लोगों के लिए इससे खतरा बहुत बढ़ जाता है.
 

 

अडानी की झोली में आई एक और सीमेंट कंपनी, जानिए कितनी कीमत पर हुई ये डील?

अडानी ग्रुप की कंपनी अंबुजा सीमेंट ने मंगलवार यानी 22 अक्टूबर को घोषणा की है कि वह 8,100 करोड़ रुपये के इक्विटी मूल्य पर ओरिएंट सीमेंट लिमिटेड (OCL) का अधिग्रहण करेगी.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
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Tuesday, 22 October, 2024
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भारत और एशिया के दूसरे सबसे अमीर बिजनेसमैन गौतम अडानी ने एक और सीमेंट कंपनी को खरीद लिया है. अडानी ग्रुप की कंपनी अंबुजा सीमेंट ने मंगलवार को घोषणा की कि वह 8,100 करोड़ रुपये के इक्विटी मूल्य पर ओरिएंट सीमेंट लिमिटेड (OCL) का अधिग्रहण करेगी. बता दें, ओरिएंट सीमेंट सीके बिड़ला ग्रुप की कंपनी है. यह सौदा 395.4 रुपये प्रति शेयर के भाव पर हुआ है. कंपनी की इस घोषणा के बाद से अडानी बता दें, कई अधिग्रहणों के माध्यम से अडानी ग्रुप सीमेंट उद्योग में अपने फुटप्रिंट को मजबूत कर रहा है. 2022 में अडानी ग्रुप ने अंबुजा और ACC का अधिग्रहण किया था. इसके बाद 2023 में सांघी इंडस्ट्रीज का अधिग्रहण किया था और अब OCL इसका लेटेस्ट अधिग्रहण है. तो चलिए जानते हैं शेयर बाजार में इन दोनों कंपनियों के शेयर का क्या हाल है?

कंपनी की सीमेंट मार्केट हिस्सेदारी में होगी 2 प्रतिशत बढ़ोतरी
अंबुजा ने कंपनी में अतिरिक्त 26 प्रतिशत हिस्सेदारी हासिल करने के लिए ओपन ऑफर भी पेश किया है. अंबुजा सीमेंट ने स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग में कहा कि 3-4 महीनों के भीतर ओपन ऑफर SAST से नियमों के प्रावधानों के अनुसार पूरा हो जाएगा. ओपन ऑफर 395.40 रुपये प्रति इक्विटी शेयर पर किया जा रहा है. इस अधिग्रहण से अडानी सीमेंट को देश के मुख्य बाजारों में अपनी उपस्थिति बढ़ाने और सीमेंट मार्केट में अपनी हिस्सेदारी में 2 प्रतिशत की वृद्धि करने में मदद मिलेगी. बता दें, अडानी ग्रुप देश की दूसरी बड़ी सीमेंट कंपनी है. आदित्य बिड़ला ग्रुप की कंपनी अल्ट्राटेक पहले नंबर पर है.

अब इतनी बढ़ जाएगी क्षमता
डील के अनुसार ओरिएंट सीमेंट लिमिटेड के मौजूदा प्रमोटरों और कुछ सार्वजनिक शेयरधारकों से अंबुजा 46.8 प्रतिशत शेयर हासिल करेगी. अधिग्रहण को पूरी तरह से आंतरिक स्रोतों से फंड किया जाएगा. अंबुजा सीमेंट्स के डायरेक्टर करण अडानी ने कहा कि यह अधिग्रहण अंबुजा सीमेंट्स की विकास यात्रा में एक और महत्वपूर्ण कदम है. अंबुजा के अधिग्रहण के दो वर्षों के भीतर सीमेंट क्षमता में 30 MTPA की वृद्धि हुई है. OCL के अधिग्रहण से अंबुजा वित्त वर्ष 2025 में 100 MTPA सीमेंट क्षमता तक पहुंचने के लिए तैयार है. अडानी ने कहा कि ओसीएल के पास स्ट्रैटजिक लोकेशन, हाई क्वालिटी वाले चूना पत्थर के भंडार और सभी तरह के जरूरी अप्रूवल हैं. निकट भविष्य में इसी सीमेंट उत्पादन क्षमता 16.6 एमटीपीए तक बढ़ सकती है. अडानी ग्रुप ने अंबुजा सीमेंट्स और एसीसी लिमिटेड को 10.5 अरब डॉलर में स्विट्जरलैंड के होलसिम ग्रुप से खरीदा था. इस साल अगस्त में अंबुजा सीमेंट्स ने गुजरात में सांघी इंडस्ट्रीज को 5,000 करोड़ रुपये में खरीदा. इसकी उत्पादन क्षमता 6.1 MTPA है.

क्या है शेयर का हाल?
कंपनी द्वारा अधिग्रहण की घोषणा करने के साथ ही सुबह अंबुजा के शेयर 1.49 प्रतिशत  बढ़कर 580 रुपये पर पहुंच गए जबकि ओरिएंट सीमेंट के शेयर 9:20 बजे तक 1.65 प्रतिशत बढ़कर 358.25 रुपये पर कारोबार करते दिखे. लेकिन दोपहर को फिर से दोनों कंपनियों के शेयर में गिरावट देखने को मिली. खबर लिखते समय अंबुजा के शेयर 1.22 प्रतिशत की गिरावट के साथ 564.90 रुपये पर कारोबार करता दिखा. वहीं, ओरिएंट सीमेंट का शेयर 1.67 प्रतिशत की गिरावट के साथ 346.55 रुपये पर कारोबार करता दिखा.  


देश के सबसे बड़े आईपीओ Hyundai Motor की हुई फुस्स लिस्टिंग, जानिए कितने पर हुए लिस्ट

बेहद विशाल आईपीओ की लिस्टिंग पर उस तरह का लिस्टिंग गेन नहीं मिल पाने का इतिहास है और आज कमोबेश वैसा ही हुंडई मोटर इंडिया की लिस्टिंग के साथ हुआ है.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
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Tuesday, 22 October, 2024
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देश के सबसे बड़े आईपीओ हुंडई मोटर इंडिया की आज मंगलवार, 22 अक्टूबर को शेयर बाजार में लिस्टिंग हो गई. साउथ कोरियाई व्हीकल मैन्युफैक्चरिंग हुंडई की भारतीय यूनिट हुंडई मोटर इंडिया लिमिटेड के शेयरों की बीएसई और एनएसई पर बेहद सुस्त लिस्टिंग हुई. हुंडई मोटर इंडिया लिमिटेड के शेयर फ्लैट लिस्ट हुए हैं. बीएसई पर यह शेयर अपने आईपीओ प्राइस बैंड के मुकाबले 1.48% डिस्काउंट के साथ 1931 रुपये पर लिस्ट हुए. वहीं, एनएसई पर यह शेयर 1.3% डिस्काउंट के साथ 1934 रुपये पर लिस्ट हुए.

कितने पर हुई लिस्टिंग

बीएसई पर शेयर 1,931 रुपये पर लिस्ट हुआ, जो ऑफर प्राइस से 1.47 प्रतिशत की गिरावट दर्शाता है. बाद में शेयर में कुछ सुधार हुआ और यह 0.44 प्रतिशत की बढ़त के साथ 1,968.80 रुपये के उच्च स्तर पर पहुंच गया. शेयर में फिर से 0.74 प्रतिशत की गिरावट आई और यह 1,945.40 रुपये पर कारोबार कर रहा था. वहीं एनएसई पर शेयर की शुरुआत 1.32 प्रतिशत की गिरावट के साथ 1,934 रुपये पर हुई. कंपनी का मार्केट कैप शुरुआती कारोबार में 1,57,807.67 करोड़ रुपये रहा.

क्या है डिटेल?

देश के सबसे बड़े इश्यू को बेहद ठंडा रिस्पॉन्स मिला था. तीन दिन में इस इश्यू को केवल 2.37 गुना सब्सक्राइब किया गया था. इसमें भी रिटेल निवेशकों द्वारा बेहद कम सब्सक्राइब किया गया. बता दें कि इस आईपीओ का साइज 27,870 करोड़ रुपये है, जो कि भारतीय शेयर बाजार का सबसे बड़ा आईपीओ है. इसने भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) के 21,000 करोड़ रुपये के आईपीओ को पीछे छोड़ दिया है. हुंडई मोटर इंडिया आईपीओ के लिए प्राइस बैंड 1,865-1,960 रुपये तय किया गया था.

एनएसई के आंकड़ों के मुताबिक, करीब 27,870 करोड़ रुपये के साइज वाले आईपीओ के तहत की गई 9,97,69,810 शेयरों की पेशकश के मुकाबले 23,63,26,937 शेयरों के लिए बोलियां मिलीं. पात्र संस्थागत खरीदारों (QIB) की कैटेगरी को 6.97 गुना, जबकि गैर-संस्थागत निवेशकों के कोटा को 60 प्रतिशत सब्सक्राइब किया गया. रिटेलनिवेशकों के लिए रिजर्व कोटे को केवल 50 प्रतिशत सब्सक्राइब किया गया. कंपनी ने आईपीओ खुलने से पहले बड़े (एंकर) निवेशकों से 8,315 करोड़ रुपये जुटाए थे. कंपनी का यह आईपीओ रिटेल निवेशकों के लिए 15-17 अक्टूबर तक के लिए खुला था.
 

 

पॉल्यूशन कम करने के लिए केंद्र सरकार खर्च करेगी 1.75 लाख करोड़, जानिए क्या है पूरा प्लान? 

केंद्र सरकार ने पॉल्यूशन कम करने के लिए देश के अलग अलग शहरों में 10 लाख इलेक्ट्रिक बसें चलाने की योजना बनाई है. इसमें लाखों करोड़ों रुपये खर्च किए जाएंगे.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
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Tuesday, 22 October, 2024
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देश में बढ़ते पॉल्यूशन के खतरे को देखते हुए केंद्र सरकार ने एक बड़ा प्लान बनाया है. इसके लिए सरकार अर्बन मेगाबस मिशन के तहत देश के अलग अलग शहरों में 1 लाख इलेक्ट्रिक बसें चलाएगी. इस प्लान को अगले पांच साल में पूरा किया जाएगा. इस मिशन पर सरकार की ओर से 1.75 लाख करोड़ रुपये का बजट खर्च किया जाएगा. तो चलिए जानते हैं सरकार की ये पूरी योजना और इसका उद्देश्य क्या है?

ई-बसों के अलावा सड़कों का भी होगा निर्माण
इस अर्बन मेगाबस मिशन में बस स्टॉप, टर्मिनल और डिपो सहित इलेक्ट्रिक बसों और रिलेटिड इंफ्रा तैयार किया जाएगा. नई इलेक्ट्रिक बसों की शुरूआत के अलावा, मिशन में 5,000 किलोमीटर पैदल और साइकिल चलाने के लिए सड़कों का निर्माण शामिल होगा. 

कब लॉन्च होगा मिशन? 

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार मिशन 2025 में लॉन्च किया जाएगा और 2029-30 वित्त वर्ष तक इस मिशन को पूरा करने का टारगेट रखा गया है. केंद्र पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन की हिस्सेदारी बढ़ाना चाहता है ताकि अधिक से अधिक लोग अपने निजी वाहनों को निकालने के बजाय इसे प्राथमिकता देना शुरू कर दें.  दस लाख से अधिक शहरों में नॉन-पॉल्यूटिंग इलेक्ट्रिक वाहनों की शुरूआत का लक्ष्य के तहत 2030 तक पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन मोड की हिस्सेदारी को सभी मोटर चालित यात्राओं में 60 प्रतिशत और 2036 तक 80 प्रतिशत बढ़ाना है. वहीं, नॉन-मोटराइज्ड ट्रिप्स यानी साइकिल और पैदल ट्रिप को 2030 तक सभी शहरी यात्राओं का कम से कम 50 प्रतिशत तक बढ़ाना है.

ये है इस मिशन का उद्देश्य

मिशन के लिए बजट 1.75 लाख करोड़ होगा – जिसमें पांच साल की अवधि के दौरान बस संचालन के लिए व्यवहार्यता अंतर निधि के रूप में 80,000 करोड़ रुपये और बस स्टॉप जैसे सहायक बुनियादी ढांचे में सुधार और वृद्धि के लिए 45,000 करोड़ रुपये शामिल हैं. सूत्रों के अनुसार इस मिशन का उद्देश्य वायु प्रदूषण को कम करना, पब्लिक हेल्थ में सुधार करना और इकोनॉमी को बढ़ावा देना है.  इसके अलावा पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन को ट्रांसपोर्ट के साथ लोगों को पैदल चलने और साइकिल चलाने के लिए प्रो​त्साहित करना है.
 


Bajaj Housing Finance ने IPO के बाद जारी किए तिमाही नतीजे, कमाई में 500 करोड़ की उछाल

कंपनी का मुनाफा 451.1 करोड़ रुपये से बढ़कर 545.6 करोड़ रुपये हो गया है. कंपनी की कमाई की बात करें तो वो भी 1911.5 करोड़ रुपये से बढ़कर 2410.2 करोड़ रुपये सालाना हो गई है.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
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Tuesday, 22 October, 2024
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बजाज हाउसिंग फाइनेंस ने स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्टिंग के बाद पहली बार तिमाही नतीजों की घोषणा की है. वित्त वर्ष 2024-25 की दूसरी तिमाही में कंपनी का मुनाफा 21 फीसदी के उछाल के साथ 546 करोड़ रुपये रहा है जो पिछले वित्त वर्ष की इसी तिमाही में 451 करोड़ रुपये रहा था. ऑपरेशंस से रेवेन्यू 26 फीसदी बढ़कर 2410 करोड़ रुपये रहा है जो बीते वित्त वर्ष के समान तिमाही में 1911 करोड़ रुपये रहा था. 

सितंबर तिमाही में कंपनी की नेट इंटरेस्ट इनकम 13% बढ़ी

स्टॉक एक्सचेंजों के पास रेगुलेटरी फाइलिंग में बजाज हाउसिंग फाइनेंस ने तिमाही नतीजे घोषित करते हुए बताया कि मौजूदा वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में कंनी का नेट इंटरेस्ट इनकम (NII) 13 फीसदी के उछाल के साथ 713 करोड़ रुपये रहा है जो बीते वर्ष इसी तिमाही में 632 करोड़ रुपये रहा था. मौजूदा वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में 12,014 करोड़ रुपये का लोन डिस्बर्समेंट देखने को मिला है जो बीते वित्त वर्ष की इसी तिमाही में 12,154 करोड़ रुपये रहा था. 

कंपनी ने बताया कि होम लोन देने के मामले में 24 फीसदी, प्रॉपर्टी के एवज में लोन ग्रोथ में 18 फीसदी, लीज रेंटल डिस्काउंटिंग में 28 फीसदी और डेवलपर फाइनेंस में 56 फीसदी का उछाल देखने को मिला है. 30 सितंबर 2024 तक कंपनी का एसेट अंडर मैनेजमेंट 26 फीसदी बढ़कर 1,02,569 करोड़ रुपये पर जा पहुंचा है जो पिछले वित्त वर्ष के इसी तिमाही में 81,215 करोड़ रुपये रहा था. 

तिमाही नतीजों पर कंपनी ने क्या कहा?

कंपनी ने कहा, वित्त वर्ष 2024-25 की दूसरी तिमाही में बजाज हाउसिंग फाइनेंस ने दो बड़े माइलस्टोन हासिल किए हैं जिसमें स्टॉक एक्सचेंज पर कंपनी की लिस्टिंग शामिल है और दूसरा एसेट अंडर मैनेजमेंट का 1 लाख करोड़ रुपये पार करना. 16 सितंबर 2024 को बजाज हाउसिंग फाइनेंस के आईपीओ लॉन्च होने के बाद कंपनी की लिस्टिंग हुई थी. 

दूसरी तिमाही में बजाज हाउसिंग फाइनेंस की स्टॉक मार्केट पर धमाकेदार लिस्टिंग हुई. पहले ही दिन कंपनी ने निवेशकों का पैसा डबल कर दिया. इस धमाकेदार एंट्री के साथ कंपनी की मार्केट वैल्यू एक ही दिन में एक लाख करोड़ रुपये के पार चला गया. यह मुकाम हासिल करने वाली पहली हाउसिंग फाइनेंस कंपनी बन गई है. पहले ही दिन 70 रुपये के इश्यू प्राइस वाला स्टॉक 165 रुपये पर जा पहुंचा और निवेशकों को 136 फीसदी का रिटर्न दे दिया. स्टॉक 188.50 रुपया का भी हाई बना चुका है. 
 


मार्केट में कमाई का मौका! हेल्थ सेक्टर की 2 बड़ी कंपनियां लाएंगी IPO, सेबी ने दी मंजूरी

निवा बूपा हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड और पारस हेल्थकेयर लिमिटेड बहुत जल्द अपना IPO लेकर आने वाली है. इसके लिए सेबी ने अपनी मंजूरी दे दी है.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
Last Modified:
Tuesday, 22 October, 2024
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मार्केट में IPO के जरिए मुनाफा कमाने वालों के लिए अच्छी खबर है. बहुत जल्द हेल्थ केयर और हेल्थ इंश्योरेंस सेक्टर में काम करने वाली 2 कंपनियां अपना IPO लेकर आने वाली हैं. हेल्थ इंश्योरेंस बेचने वाली निवा बूपा हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड (Niva Bupa Health Insurance Company Ltd) और पारस हेल्थकेयर लिमिटेड, जो पारस हेल्थ (Paras Health) ब्रांड के तहत हॉस्पिटल चेन चलाती है, अपना IPO लेकर आ रही हैं. इसके लिए दोनों कंपनियों को मार्केट रेगुलेटर SEBI की मंजूरी मिल गई है.

सेबी से मिली मंजूरी

फाइलिंग से पता चलता है कि दोनों कंपनियों ने जुलाई-अगस्त के दौरान SEBI के पास IPO के लिए ड्राफ्ट पेपर्स दाखिल किए थे, जिसके ऊपर उन्हें 18 अक्टूबर को ऑब्जर्वेशन प्राप्त हुई. सेबी की भाषा में ऑब्जर्वेशन मिलने का मतलब आईपीओ की मंजूरी है. ये दोनों ही IPO (Niva Bupa Health Insurance और Paras Health) BSE और NSE पर लिस्टेड होंगी.

Niva Bupa जुटाएगी 3,000 करोड़ रुपये 

निवा बूपा हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी की नए शेयर जारी कर और ओएफएस के जरिए 3,000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना है. निवा बूपा हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी बूपा ग्रुप (यूके स्थित हेल्थकेयर सर्विसेज एक्सपर्ट) और फेटल टोन एलएलपी के बीच एक ज्वाइंट वेंचर है. डीआरएचपी के अनुसार, बूपा सिंगापुर होल्डिंग्स पीटीई के पास निवा बूपा में 62.27 फीसदी हिस्सेदारी है और शेष शेयर फेटल टोन एलएलपी (27.86 फीसदी हिस्सेदारी) सहित पब्लिक शेयरहोल्डर्स के पास हैं.

400 करोड़ रुपये जुटाएगा Paras Health

पारस हेल्थकेयर आईपीओ से 400 करोड़ रुपये तक जुटाना चाह रही है. पारस हेल्थकेयर में ग्लोबल प्राइवेट इक्विटी फर्म Creador का निवेश है. गुरुग्राम स्थित हेल्थकेयर प्रोवाइडर में धर्मिंदर कुमार नागर और कॉमेलिना (Creador की सहयोगी) के पास 75.32 फीसदी और 24.68 फीसदी हिस्सेदारी है. पारस हेल्थकेयर 5 राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश में 2135 बेड के साथ पारस हेल्थ ब्रांड के तहत 8 अस्पतालों को ऑपरेट करती है.
 


कल बाजार ने खूब रुलाया, आज इन शेयरों में निवेश से चेहरे पर लौट सकती है मुस्कान!

दलाल स्‍ट्रीट पर सोमवार को गिरावट देखने को मिली थी. दोनों प्रमुख सूचकांक नरमी के साथ बंद हुए थे.

बिजनेस वर्ल्ड ब्यूरो by
Published - Tuesday, 22 October, 2024
Last Modified:
Tuesday, 22 October, 2024
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सोमवार को शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव देखने को मिला. हालांकि HDFC बैंक और रिलायंस इंडस्ट्रीज जैसे दिग्गज निफ्टी शेयरों ने अच्छी बढ़त दिखाई, फिर भी बाजार लाल निशान में बंद हुआ. HDFC बैंक और रिलायंस ने निफ्टी को 93 अंकों की बढ़त दी, लेकिन दूसरी ओर, कोटक महिंद्रा बैंक, इंफोसिस, इंडसइंड बैंक, आईसीआईसीआई बैंक और टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स के शेयरों में गिरावट ने इन बढ़तों को पूरा तरह से बेअसर कर दिया. बाजार में गिरावट का एक प्रमुख कारण कंपनियों के कमजोर तिमाही नतीजे रहे. आज भी बाजार से मिलीजुली प्रतिक्रिया मिलने की उम्मीद है. चलिए जानते हैं कि आज कौनसे शेयर ट्रेंड में रह सकते हैं.

इन स्टॉक्स में तेजी और मंदी के संकेत

मोमेंटम इंडिकेटर मूविंग एवरेज कन्वर्जेंस डिवर्जेंस (MACD) ने Olectra Greentech, Tata Chemicals, Heritage Foods, Aster DM Healthcare और HDFC Bank पर तेजी का रुख दिखाया है. एमएसीडी को ट्रेडेड सिक्योरिटीज या इंडेक्स में ट्रेंड रिवर्सल के संकेत के लिए जाना जाता है. जब एमएसीडी सिग्नल लाइन को पार करता है, तो यह एक तेजी का संकेत देता है. यह दर्शाता है कि शेयर की कीमत में ऊपर की ओर गति देखी जा सकती है. इसी तरह यह मंदी का भी संकेत देता है. वहीं एमएसीडी (MACD) ने Apar Industries, Shakti Pumps, Persistent Systems, OFSS, Prataap Snacks, Whirlpool of India और Symphony के शेयर में मंदी का संकेत दिया है. इसका मतलब है कि अब इन शेयरों में गिरावट शुरू हो गई है.

इन शेयरों में खरीदारी और बिकवाली का दबाव

जिन शेयरों में मजबूत खरीदारी देखने को मिल रही है, उनमें Amber Enterprises, Suven Pharma, Netweb Technologies, MCX, Tech Mahindra, Dixon Technologies और Aditya Birla Real Estate शामिल हैं. इन शेयर ने अपना 52 हफ्ते का उच्च स्तर पार कर लिया है, यह इन शेयर में तेजी का संकेत देता है. जिन शेयरों में बिकवाली का दबाव देखने को मिल रहा है, उनमें Ujjivan Small Finance Bank, RBL Bank, IndusInd Bank, J&K Bank, IDFC First Bank, Equitas Small Finance Bank और CreditAccess Grameen शामिल हैं. इन शेयरों ने अपना 52 हफ्ते का निचला स्तर पार कर लिया है, यह इन शेयर में नरमी का संकेत देता है.

इन स्टॉक्स पर रखें नजर

आज मंगलवार के ट्रेडिंग सत्र में कुछ प्रमुख कंपनियों के नतीजों पर बाजार की नजर रहेगी. इनमें बजाज हाउसिंग फाइनेंस, टाटा मोटर्स, जना स्मॉल फाइनेंस बैंक, सिटी यूनियन बैंक, महिंद्रा लॉजिस्टिक्स, सुप्रीम पेट्रोकेम. इसके अलावा, सायंट DLM, नेल्को, राजरतन ग्लोबल वायर्स, और रेल विकास निगम लिमिटेड जैसी कंपनियां भी अपने नतीजों के साथ निवेशकों के ध्यान में रहेंगी. RVNL ने सऊदी अरब में अपनी सहायक कंपनी की स्थापना भी की है. शेयर बाजार में इन प्रमुख कंपनियों के नतीजे मंगलवार को तय करेंगे कि बाजार की चाल कैसी रहने वाली है.

(डिस्क्लेमर: शेयर बाजार में निवेश जोखिम के अधीन है. 'BW हिंदी' इसकी कोई जिम्मेदारी नहीं लेता. सोच-समझकर, अपने विवेक के आधार पर और किसी सर्टिफाइड एक्सपर्ट से सलाह के बाद ही निवेश करें, अन्यथा आपको नुकसान उठाना पड़ सकता है).


छह साल में तीसरी बार बोनस शेयर देने जा रही ये कंपनी, इन बड़े निवेशकों के पास भी है हिस्सेदारी

मल्टीबैगर कंपनी Raghav Productivity Enhancers ने 1:1 के रेशियो में बोनस शेयर देने का ऐलान किया है. कंपनी ने बोनस शेयर की रिकॉर्ड डेट की घोषणा भी कर दी है. 

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Monday, 21 October, 2024
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स्मॉलकैप कंपनी राघव प्रॉडक्टिविटी एन्हैंसर्स (Raghav Productivity Enhancers) के शेयर में सोमवार को जबरदस्त उछाल देखने को मिली है. कंपनी के शेयर अपने 52 हफ्ते के हाई के बिल्कुल करीब पहुंच गए हैं. दरअसल, कंपनी के शेयर में ये उछाल शेयरहोल्डर्स को बोनस शेयर देने की घोषणा करने के बाद देखने को मिली है. कंपनी ने 1:1 के रेशियो में बोनस शेयर बांटने की घोषणा की है. इसका मतलब है कि कंपनी हर शेयर पर 1 बोनस शेयर देगी. आपको बता दें, इस कंपनी में कई दिग्गजों ने भी निवेशक किया हुआ है. 

कंपनी कब बांटेगी बोनस शेयर?
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार कंपनी ने 1 शेयर पर 1 बोनस शेयर बांटने की घोषणा की है. कंपनी ने बोनस शेयर की रिकॉर्ड डेट 15 नवंबर 2024 के लिए तय की है. बता दें, कंपनी ने पिछले करीब 6 साल में तीसरी बार बोनस शेयर बांटने जा रही है. इससे पहले स्मॉलकैप कंपनी ने मई 2018 में 2:5 के रेशियो में बोनस शेयर दिए थे. यानी, कंपनी ने हर 5 शेयर पर 2 बोनस शेयर बांटे. अगस्त 2023 में 1:1 के रेशियो में बोनस शेयर दिया. 

4 साल में शेयरों में 1500 प्रतिशत से ज्यादा की तेजी
कंपनी के शेयर सोमवार यानी 21 अक्टूबर 2024 को 7. 60 प्रतिशत की तेजी के साथ 1,357 रुपये पर बंद हुआ. बता दें. इस कंपनी के शेयर में पिछले 4 साल में 1500 पर्सेंट से अधिक का उछाल देखने को मिला है. स्मॉलकैप कंपनी के शेयर 23 अक्टूबर 2020 को 79 रुपये पर थे. राघव प्रॉडक्टिविटी एन्हैंसर्स के शेयर 21 अक्टूबर 2024 को 1321 रुपये पर जा पहुंचे हैं. पिछले 3 साल में कंपनी के शेयरों में 245 पर्सेंट से अधिक की तेजी देखने को मिली है. वहीं, पिछले एक साल में कंपनी के शेयर 95 पर्सेंट से ज्यादा उछल गए हैं.

इन दिग्गजों ने किया है निवेश 
कई दिग्गज इनवेस्टर्स ने राघव प्रॉडक्टिविटी एन्हैंसर्स पर दांव लगाया हुआ है. रेखा झुनझुनवाला के पास राघव प्रॉडक्टिविटी एन्हैंसर्स के 11,02,852 शेयर हैं. कंपनी में उनकी हिस्सेदारी 4.80 प्रतिशत है. दिग्गज निवेशक आशीष कचौलिया के पास कंपनी के 4,63,366 शेयर या कंपनी में 2.02 प्रतिशत हिस्सेदारी है. मुकुल महावीर अग्रवाल के पास राघव प्रॉडक्टिविटी एन्हैंसर्स के 3,56,148 शेयर हैं. कंपनी में उनकी हिस्सेदारी 1.55 प्रतिशत है.


 


फ्लाइट में बम की अफवाह फैलाने वालों की अब नहीं खैर! भारी जुर्माने के साथ मिलेगी सजा

मिनिस्टर ऑफ सिविल एलिएशन ऑफ इंडिया राम मोहन नायडू ने कई डोमेस्टिक और इंटरनेशनल फ्लाइट में बम की झूठी कॉल के मामले पर प्रतिक्रिया दी है. सरकार ऐसे लोगों पर अब कार्रवाई करने की योजना बना रही है.

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Monday, 21 October, 2024
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सरकार ने फ्लाइट को बम से उड़ाने की धमकी देने वालों पर सख्त कार्रवाई करने की घोषणा की है. दरअसल, पिछले एक हफ्ते में करीब 100 फ्लाइट को बम से उड़ाने की धमकी मिली है. इनमें से सभी धमकियां फर्जी थीं और इनके चलते उड़ान में काफी देरी हुई. इस मामले को सरकार ने अब गंभीरता से लिया है. सरकार का कहना है कि यात्रियों की सुरक्षा उनकी सर्वोच्च प्राथमिकता है, लेकिन, इस तरह का फर्जी कॉल करके पैनिक क्रिएट करने वालों के खिलाफ एक्शन लिया जाएगा. इसके लिए नियमों में जरूरी बदलाव भी किए जाएंगे. तो चलिए जानते हैं सरकार ने इसे लेकर क्या घोषणा की है?

24 घंटे के भीतर 11 विमानों को मिली बम से उड़ाने की धमकी
मिनिस्टर ऑफ सिविल एलिएशन ऑफ इंडिया राम मोहन नायडू ने बताया कि फोन कॉल आने की शुरुआत के बाद से हितधारकों के साथ कई बैठकें की गई हैं. अब विमान (सुरक्षा) नियमों में संशोधन पर विचार हो रहा है. इसका मकसद इस तरह की धमकियां देने वाले लोगों की पहचान करना और उन्हें नो-फ्लाई लिस्ट में डालना है. इस तरह की फर्जी धमकियों की बाढ़ आ गई है. 19 अक्टूबर को तो 24 घंटे के भीतर 11 विमानों में बम होने की धमकी मिली थी.

एक्शन मोड में सरकार
राम मोहन नायडू ने कहा है कि सरकार SUASCA एक्ट में संशोधन को लेकर दूसरे मंत्रालयों के साथ भी चर्चा कर रही है. सरकार इसे संज्ञेय अपराध की श्रेणी में लाना चाहती चाहती है. उन्होंने कहा कि हम यात्रियों की सुरक्षा के साथ भी किसी तरह का समझौता नहीं करेंगे. हमारा पूरा ध्यान स्थिति का आकलन करने पर क्योंकि यह बहुत ही नाजुक मसला है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अब से ऐसे फोन कॉल करने वालों को नो-फ्लाई सूची में डालने के साथ ही जुर्माना और सजा का प्रावधान किया जाएगा.  

विदेशों से आ रही अधिकतर थ्रेट कॉल्स 
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार विमानों में बम की हॉक्स कॉल के बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय में उच्चस्तरीय बैठक भी हुई. इसमें गृह सचिव ने सीआईएसएफ के DG और BCAS के DG से थ्रेट कॉल पर पूरी जानकारी ली. मीटिंग में BCAS DG और CISF ने जांच की स्टेटस रिपोर्ट भी दी. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अधिकतर थ्रेट कॉल्स विदेशों से आ रही हैं.

एयरलाइंस कंपनियां भी हैं परेशान
विमान कंपनियां बम की धमकी वाले फर्जी फोन कॉल से काफी परेशान हैं. इससे फ्लाइट में काफी डिले होता है और यात्रियों को भी असुविधा होती है. यही वजह है कि एयरलाइंस भी इस तरह के फोन कॉल से निपटने के लिए सख्त नियम बनाने की वकालत कर रही हैं. उनका यह भी सुझाव है कि फर्जी बम धमकियों के कारण उन्हें होने वाले नुकसान की भरपाई आरोपियों से की जानी चाहिए.


Reliance Infra जुटाएगी 6,000 करोड़ रुपये, शेयरधारकों से मिली मंजूरी, जानिए क्या है प्लान

रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर के निदेशक मंडल ने 19 सितंबर को 6,000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना को मंजूरी दी थी.

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बीते कुछ महीनों से अनिल अंबानी के अच्छे दिन शुरु हो गए हैं, इसकी वजह है अनिल अंबानी की दो कंपनियां. अनिल अंबानी की ये दो कंपनियां हैं रिलायंस पावर और रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर. ये दोनों कंपनियां कर्जमुक्त हो चुकी है. अब दिवाली से ठीक पहले रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर को लेकर एक और खुशखबरी आई है. दरअसल रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर के शेयरधारकों ने शेयरों के क्यूआईपी के जरिए 6,000 करोड़ रुपये जुटाने की कंपनी की योजना को मंजूरी दे दी है.

कंपनी ने खुद दी जानकारी

कंपनी ने शेयर बाजार को दी जानकारी में बताया कि दोनों प्रस्तावों को शेयरधारकों की मंजूरी मिल गई है, जिसमें डाक मतपत्र के माध्यम से प्रस्तावों के पक्ष में 98 प्रतिशत से अधिक मतदान हुआ है. रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर के निदेशक मंडल ने 19 सितंबर को 6,000 करोड़ रुपये जुटाने की योजना को मंजूरी दी थी. इसमें से 3,014 करोड़ रुपये शेयरों या परिवर्तनीय वारंट के तरजीही आवंटन के जरिए जुटाए जाने थे, जबकि 3,000 करोड़ रुपये क्यूआईपी के जरिए जुटाए जाएंगे.

ऐसे होगा विस्तार

पहले चरण में, रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर 240 रुपये प्रति शेयर के निर्गम मूल्य पर 12.56 करोड़ इक्विटी शेयर या परिवर्तनीय वारंट जारी करके 3,014 करोड़ रुपये का तरजीही नियोजन शुरू कर रहा है. इसमें से 1,104 करोड़ रुपये रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर के प्रवर्तकों द्वारा प्रवर्तक कंपनी राइजी इनफिनिटी प्राइवेट लिमिटेड के माध्यम से निवेश किए जाएंगे. राइजी 4.60 करोड़ शेयर खरीदेगी. तरजीही निर्गम में भाग लेने वाले दो अन्य निवेशक मुंबई स्थित फॉर्च्यून फाइनेंशियल एंड इक्विटीज सर्विसेज और फ्लोरिंट्री इनोवेशन एलएलपी हैं. फ्लोरिंट्री का स्वामित्व ब्लैकस्टोन के पूर्व कार्यकारी मैथ्यू साइरियाक के पास है, जबकि फॉर्च्यून फाइनेंशियल का स्वामित्व निमिश शाह के पास है.

नेटवर्थ बढ़कर 12,000 करोड़ रुपये होगी

इस प्रेफरेंशियस इश्यू से रिलायंस इंफ्रास्ट्रक्चर की नेटवर्थ 9,000 करोड़ रुपये से बढ़कर 12,000 करोड़ रुपये हो जाने की उम्मीद है, जिससे इसका कर्ज काफी कम हो जाएगा. इससे मिलने वाली राशि का इस्तेमाल सब्सिडियरीज और ज्वाइंट वेंचर में निवेश सहित बिजनेस ऑपरेशन का विस्तार करने के लिए किया जाएगा, साथ ही लॉन्गटर्म वर्किंग कैपिटल की जरूरतों को भी पूरा किया जाएगा.